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Hindi News मध्य-प्रदेश लाडली बहना योजना से बढ़ा मध्य प्रदेश सरकार का भार, मुख्यमंत्री ने खुद बताई ये बात; जानें और क्या कहा

लाडली बहना योजना से बढ़ा मध्य प्रदेश सरकार का भार, मुख्यमंत्री ने खुद बताई ये बात; जानें और क्या कहा

मुख्यमंत्री मोहन यादव ने यह बात खुद स्वीकार की कि लाडली बहना योजना से राज्य सरकार पर वित्तीय बोझ बढ़ गया है। साथ ही यह भी कहा कि सरकार ने इससे निपटने के लिए कई काम शुरू किए हैं।

मुख्यमंत्री मोहन यादव- India TV Hindi Image Source : PTI मुख्यमंत्री मोहन यादव

भोपाल: लाडली बहना योजना से मध्य प्रदेश सरकार पर बोझ बढ़ गया है। यह बात खुद प्रदेश के मुख्यमंत्री मोहन यादव ने बताई है। मुख्यमंत्री डॉ मोहन यादव ने एक प्रेस कांफ्रेंस कर कहा कि लाडली बहना योजना की वजह से सरकार पर भार बढ़ गया है, ऐसे में सरकार अपनी आमदनी बढ़ा रही है जिससे यह योजना निरंतर चलती रहे। बता दें कि मध्य प्रदेश के चुनावों में लाड़ली बहना योजना ने बीजेपी की जीत का रास्ता आसान कर दिया और राज्य में प्रचंड बहुमत से सरकार बनी।

19212 करोड़ भेजे गए

अब लाडली बहना योजना को लेकर सीएम मोहन यादव का बयान सामने आया है जिसमें उन्होंने कहा है कि इस योजना का लोड तो पड़ रहा है लेकिन सरकार अपनी आय के साधन बढ़ा रही है जिससे यह योजना का संचालन अपने सामर्थ्य से कर सके। दरअसल,मोहन यादव आज अपनी सरकार के एक साल पूरा होने पर राजधानी भोपाल में एक प्रेस कांफ्रेंस को संबोधित कर रहे थे। इसी दौरान सरकार की महिला सशक्तिकरण को लेकर चल रही योजनाओं पर जानकारी देते हुए सीएम मोहन यादव ने कहा कि 'अपने यहां 26 लाख लाडली बहनों को 450 रुपया गैस रिफिलिंग का हम दे रहे है। 1 करोड़ 29 लाख लाडली बहनों को अब तक 19 हजार 212 करोड़ रुपए राशि का अंतरण किया है।

योजना से फाइनेंशियल तकलीफ है

आगे कहा कि जब से सरकार बनी थीं तब लोग कह रहे थे कि ये चल नहीं पाएगी, लोड पड़ेगा, फाइनेंशियल तकलीफ है यह हो नहीं पाएगा। हम ये बात जरूर मानते हैं कि लोड पड़ रहा है, लेकिन लोड पड़ने के साथ-साथ सरकार आय के साधन भी बढ़ा रही है। सरकार अपने पैरों पर अपनी वित्तीय व्यवस्था को खड़ा करने के लिए साधन पर फोकस कर रही है। जब आप आय बढ़ाओगे तो स्वतः ही इस सभी व्यवस्थाओं को संचालित करने के लिए आप सामर्थ्य और सक्षम हो जाते हो। हमने इस दिशा में काम किया है कि हमारी सारी जनकल्याणकारी योजनाएं खासतौर से बहनों की योजनाओं को लेकर हम आगे बढ़ रहे हैं।