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Hindi News मध्य-प्रदेश सीएम मोहन यादव ने विजयादशमी की सभी को दी शुभकामनाएं, शस्त्र पूजन कर कही ये बात

सीएम मोहन यादव ने विजयादशमी की सभी को दी शुभकामनाएं, शस्त्र पूजन कर कही ये बात

विजयादशमी के अवसर पर सीएम मोहन यादव ने आज शस्त्र पूजन किया। उन्होंने कहा कि हमारे देवता शास्त्र की बात करते हैं लेकिन समय आने पर शस्त्र उठाने से भी गुरेज नहीं करते हैं।

CM Mohan Yadav wished everyone on Vijayadashami said this after worshipping weapons- India TV Hindi Image Source : X/TWITTER सीएम मोहन यादव ने विजयादशमी किया शस्त्र पूजन

विजयादशमी का त्योहार देशभर में धूमधाम से मनाया गया। इस दौरान मध्य प्रदेश के मुख्यमंत्री मोहन यादव ने शस्त्र पूजन किया। उन्होंने इंडिया टीवी से बात करते हुए कहा, "शस्त्र पूजा इसलिए जरूरी है, क्योंकि सभी देवता भी जहां शास्त्र की बात करते हैं, लेकिन आवश्यकता पड़ने पर शस्त्र से भी गुरेज नहीं करते। यह हमारी परंपरा है, हमें इस पर गर्व करना चाहिए। रानी अहिल्याबाई ने मुगल सप्ताह के काल में शासन के सूत्र संभाले और होल्कर साम्राज्य को कीर्ति प्रसिद्ध प्रदान की इसलिए उनकी राजधानी महेश्वर से अच्छा कौन सा स्थान होता है। इसलिए मैंने यही शस्त्र पूजन करने का निर्णय लिया। माता अहिल्याबाई ने विपरीत परिस्थितियों में शासन किया, जैसे उन्होंने शासन चलाया, वह उनका कौशल था और वह हमारा गौरवशाली अतीत है। उन्होंने महिलाओं की सेना बनाई, रोजगार देने का काम किया, कई काम उन्होंने किए हैं।"

मोहन यादव ने किया शस्त्र पूजन

मोहन यादव ने कहा कि हम सब का सौभाग्य है कि दशहरा पुरुष पराक्रम पुरस्कार जगाने का त्यौहार है और इस त्यौहार की हजारों लाखों साल पुरानी परंपरा है। भारतवर्ष में आनंद बढ़ जाता है, जब 300 अवंती बाई का जन्मोत्सव चल रहा है। पूरे वर्ष में उनके लिए विविध कार्यक्रम आयोजित किए हैं। वह एक ऐसी शाक्षिका थीं, जिसके लिए मुगलसत्ता के शासनकाल में चारों तरफ चुनौतियां ही चुनौतियां थीं। लेकिन चुनौतियों के बीच में उन्होंने शासन का सूत्र संभाला, बल्कि सुशासन के माध्यम से होल्कर साम्राज्य को कीर्ति प्रसिद्धि प्रदान की। उनकी राजधानी महेश्वर थी, तो इससे अच्छा कौन सा स्थान हो सकता है। इसलिए शस्त्र पूजन का यहां मैं निर्णय किया है। 

मोहन यादव ने विजयादशमी की दी शुभकामनाएं

उन्होंने आगे कहा कि अलग-अलग मंत्री हर जगह शस्त्र पूजन कर रहे हैं। हमने एक आर्डर लिया कि नारी सशक्तिकरण की दिशा में जैसे अहिल्याबाई ने काम किया है। ऐसी बहुत सारी योजनाओं को भी हमने बनाया है। माहेश्वरी साड़ियों को लेकर हमने काम किया है। सुशासन के लिए शास्त्र का भी इस्तेमाल और शासन का भी प्रॉपर ध्यान रखा है। साथ ही धर्मस्थलों की देखभाल के लिए भी अलग-अलग प्रकार की नीतियों को लागू किया जाएगा। जातिवाद के खिलाफ माता अहिल्याबाई ने काम किया। उन्होंने विधवा विवाह के खिलाफ काम किया। उनके जीवनकाल के विविध पक्षों से ही हमको यश मिलता है। हम उन्हें याद करके गौरवान्वित होते हैं। उन्होंने कहा कि शस्त्र पूजा इसलिए जरूरी है क्योंकि हमारे त्योहार संस्कार देते हैं। मानव जीवन के लिए सभी देवता शास्त्र की बात करते हैं लेकिन आवश्यकता पड़ने पर वह शस्त्र उठाने से भी गुरेज नहीं करते हैं। हमारी परंपरा पर हमें गर्व है। विजयादशमी की सभी को मंगलकामनाएं।

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