नई दिल्ली: हिंदू धर्म के लोग लवास्तुशास्त्र को बहुत अधिक मानते है। इसी के अनुसार हर चीज रखते है । जिससे उनके घर में वास्तुदोष न हो। वास्तु के अनुसार माना जाता है कि दो तरह की ऊर्जा होती है । एक सकारात्मक और दूसरी नकारात्मक। जब हम वास्तुशास्त्र का पालन करते है, तो घर बनवाते समय सिर्फ यह नही वह ईट और सीमेंट के बनें बल्कि यह भी देखा जाता है कि किस दिशा में क्या बनवाया जाए या फिर किस दिशा में दरवाजा हो। इसी तरह वास्तु के अनुसार सीढ़ियों को बनवाने का बहुत महत्व है।
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वास्तु शास्त्र के अनुसार घर में सीढ़ियों को अगर सही दिशा में न बनाया गया हो, तो यह एक गंभीर वास्तु दोष माना जाता है। क्योंकि घर की सीढ़ियां सीधे उस परिवार के कमाने वाले इंसान की आमदनी पर अटैक करती हैं। जिस वजह से परिवार वालों को आर्थिक कठिनाइयों का सामना करना पड़ सकता है।
पहले जमाने की बात कर तो लोग कही किनारें पर सीढ़ियां बनाते थे, लेकिन आज घर की इंटीरियर डिजाइन के लिए घर के अंदर भी सीढ़िया बनाते है। जिससे कि घर खुबसूरत लगें। साथ ही हमें इस बात का ध्यान रखना चाहिए कि सीढ़िया किस दिशा में बनी है। कही यह वास्तु के अनुसार गलत तो नही बन रही। वास्तु के अनुसार सीढ़िया दक्षिण-पश्चिम दिशा में है तो काफी लाभकारी है। जानिए किस दिशा, किस तरह की सीढ़िया वास्तु के अनुसार बनवानी चाहिए।
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