दोपहर के समय अस्पताल में नहीं लेनी चाहिए अप्वाइंटमेंट, ये रहीं कुछ वजहें
यूं तो अस्पताल जाने का कोई समय निर्धारित नहीं होता। एमरजेंसी कभी भी आ सकती है। लेकिन अगर बात अप्वाइंटमेंट लेने की है तो दोपहर के समय नहीं जाना चाहिए। एक अध्ययन में यह बात सामने आई है।
आमतौर पर अस्पताल जाने का कोई समय नहीं होता। एमरजेंसी कभी भी आ सकती है लेकिन बात जब स्वास्थ्य संबंधी किसी समस्या की हो तो दोपहर के समय अप्वाइंटमेंट लेने से बचना चाहिए। आमतौर पर कई लोग ट्रेफिक और काम के चलते दोपहर के समय अस्पताल जाकर डॉक्टर से मिलना लेकिन आप अप्वाइंटमेंट लेकर जा रहे हैं तो दोपहर के समय लेने से बचे। इस बात को लेकर कई अध्ययन किए गए है जिससे बाद सलाह दी गई है कि दिन के बीच यानी दोपहर के समय हॉस्पिटल जाना आपके लिए अच्छा ऑप्शन नहीं है। हम आपको 4 ऐसी वजह बता रहे है जो कई रिसर्च में साबित हुई है कि दोपहर के समय हॉस्पिटल जाना क्यों अच्छा नहीं है।
एक्रागता में कमी
अधिकतर लोग लंच के बाद अधिक नींद और आलस्य महसूस करते हैं। यह रोजाना की एक प्रक्रिया जिसे हमारे शरीर में फिक्स कर दिया गया गै। यह डॉक्टर्स और नर्स पर भी आधारित है। अगर आप 3 बजे डॉक्टर से मिलते है तो उनकी एक्रागता का लेवल कम होगा जिससे वह आपकी बातों पर ज्यादा ध्यान नहीं दे पाएंगे। ड्यूक यूनिवर्सिटी द्वारा एक स्टडी सामने आई थी जिसके अनुसार एनेस्थेसियोलॉजिस्ट एकाग्रता की कमी के कारण दोपहर में अधिक गलतियां करते हैं।।
इन 5 फलों और सब्जियों से बनाए दूरी, नहीं तो तेजी से बढ़ेगा वजन
शिफ्ट चेंज
अधिकतर हॉस्पिटल में दोपहर के समय ही स्टाफ की शिफ्ट बदलती है। कई लोग ऐसे भी होते है जो अपनी शिफ्ट खत्म होने के चक्कर में अपना काम खत्म करने की हड़बड़ी में होते हैं। इसके साथ ही सबसे ज्यादा संभव होता है कि आपको ज्यादा इंतजार करना पड़ सकता है। इसलिए अगर आपके पास कम समय है तो दोपहर के समय हॉस्पिटल जाने से बचें।
साफ-सफाई का अभाव
हॉस्पिटल विभिन्न प्रकार के जर्म्स और बैक्टीरिया से भरा होता है। इसलिए इसे साफ रखना बहुत ही जरूरी होचा है। कई शोधों में ये बात सामने आई कि हॉस्पिटल दोपहर की जगह सुबह और शाम को साफ किए जाते है। इसके अलावा, साल 2015 में एक स्टडी की गई जिसमें 4,000 लोगों पर अध्ययन किया गया। जिसमें यह बात सामने आई कि अस्पताल के कर्मचारियों को सुबह की तुलना में दोपहर में हाथ धोने की संभावना 38 प्रतिशत कम थी।
हेल्थ टिप्स: सोते समय कभी ना करें ये गलतियां
बीमारियों का सही पता लगने में परेशानी
पेन्सिलवेनिया विश्वविद्यालय के एक अध्ययन के अनुसार, डॉक्टर आपको सुबह के समय टेस्ट स्क्रीनिंग कराने की सलाह देते हैं। वहीं सुबह के बाद डॉक्टर इतना ज्यादा अन्य कामों में बिजी हो जाता है कि इसे आपके टेस्ट की रिपोर्ट को चेक करके आपके बीमारियों के बारे में सही से बताने के चांसेस काफी हद तक कम हो जाते है।