अगर हद से ज्यादा किया ये काम, तो कभी नहीं बन पाएंगे पिता
आईवीएफ विशेषज्ञों का कहना है कि लंबे समय तक कठिन कसरत करने से शुक्राणुओं की संख्या में कमी आती है, जिससे पुरुषों की बच्चा पैदा करने की क्षमता कम हो जाती है।
हेल्थ डेस्क: आजकल के ट्रेंड में एक्सरसाइज आदि का बहुत ही ज्यादा बढ़ गया है। लोगों को जितना समय मिलता है वो एक्सरसाइज आदि करना में निकाल देते है। जिससे कि वह फिट रहें। खुद को फिट रखने के लिए खुद को हद से ज्यादा योग, जिम करते है। इतना ही नहीं एक्सरसाइज के साथ-साथ स्टेरॉयड करते है। जो कि हेल्थ के लिए काफी नुकसानदायक होता है।
ज्यादा कसरत करना पुरुषों को भारी पड़ सकता है, जो कि आजकल प्रचलन में है। अगर इसके साथ वे स्टेरॉयड का प्रयोग भी करते हैं तो यह उन्हें बांझ (इनफर्टाइल) बना सकता है। ऐसा आईवीएफ विशेषज्ञों का कहना है। आईवीएफ विशेषज्ञों का कहना है कि लंबे समय तक कठिन कसरत करने से शुक्राणुओं की संख्या में कमी आती है, जिससे पुरुषों की बच्चा पैदा करने की क्षमता कम हो जाती है।
बांझपन को बढ़ाने में एक अन्य कारक बॉडी बिल्डिंग के लिए स्टेरॉयड का प्रयोग किया जाना है, जिससे कि जूस्पर्मिया नामक बीमारी होती है। जूस्पर्मिया होने पर वीर्य में शुक्राणु का निर्माण नहीं हो पाता है। हाल ही में हुए एक अध्ययन में बताया गया है कि लगभग एक प्रतिशत भारतीय पुरुष जूस्पर्मिया से प्रभावित हैं।
इंदिरा आईवीएफ अस्पताल के आईवीएफ एक्सपर्ट अरविंद वेद ने बताया, "ऐसे कई लोग हैं जो शरीर सौष्ठव के लिए भारी कसरत का लंबे समय तक प्रशिक्षण लेते हैं। यह उनके शरीर में शुक्राणुओं की संख्या को कम कर सकता है। अगर कोई कसरत करके बहुत ज्यादा थक रहा है, तो उस पुरुष की तुलना में जो सामान्य कसरत करता है, भारी कसरत करने वाले व्यक्ति के वीर्य में शुक्राणुओं की संख्या घट जाती है।"
आईवीएफ विशेषज्ञ रेखा गोस्वामी, जो पहले एम्स में काम कर चुकी हैं, उनका कहना है कि भारी कसरत करने से बांझपन की समस्या लंबे समय तक बनी रह सकती है, जबकि उससे भी ज्यादा चिंता की बात बिना डॉक्टरी सलाह के स्टेरॉयड का सेवन है।
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