नई दिल्ली: योगियों के ध्यान व योग से दिमाग तेज होने वाले दावे की पुष्टि हुई है। एक नए शोध में यह सामने आया है कि ध्यान व श्वास से जुड़े व्यायाम जैसे प्राणायाम दिमाग को मजबूत बनाने व कार्यो पर ध्यान केंद्रित करने में मददगार साबित होता है।
डबलिन के त्रिनिटी कॉलेज के शोध के प्रमुख खोजकर्ता इयॉन रॉबर्टसन ने कहा, "हमारा शोध बताता है कि श्वास केंद्रित व्यायाम व दिमाग की स्थिरता के बीच मजबूत संबंध है।" इस शोध के निष्कर्षो का प्रकाशन पत्रिका 'साइकोफिजियोलॉजी' में किया गया है। इसमें श्वसन व ध्यान के बीच न्यूरोफिजियोलॉजिकल संबंध को बताया गया है।
शोध से पता चलता है कि सांस लेना ध्यान का एक प्रमुख तत्व व दिमागी व्यायाम है। यह सीधे तौर पर दिमाग में प्राकृतिक रासायनिक संदेशवाहक के स्तर को प्रभावित करता है, जिसे नॉरएड्रीलीन कहते हैं। यह रासायनिक संदेशवाहक हमारे चुनौती, उत्सुकता, व्यायाम, ध्यान केंद्रित या भावनात्मक रूप से उत्तेजित होने पर जारी होते हैं, यदि यह सही स्तर पर उत्पन्न होते हैं तो यह दिमाग को नए संपर्क बनाने में मदद करते हैं। यह दिमाग के लिए टॉनिक के तौर पर काम करता है।
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