नई दिल्ली। राष्ट्रीय राजधानी में स्कूलों को कब और कैसे खोला जाए, इसके लिए दिल्ली के शिक्षा मंत्री मनीष सिसोदिया ने बुधवार को विभिन्न स्कूलों के प्रधानाचार्य के साथ एक अहम ऑनलाइन संवाद किया। संवाद में सिसोदिया के साथ सरकारी स्कूलों के एक हजार प्रिंसिपल शामिल हुए। सिसोदिया ने स्कूलों को फिर से खोलने के लिए प्रत्येक स्कूल के स्तर पर योजना बनाने का सुझाव दिया। उपमुख्यमंत्री ने प्रधानाचार्यो से कहा, "फोन के माध्यम से सभी बच्चों का पता लगाएं कि वे दिल्ली में हैं या अपने मूल स्थान पर वापस चले गए हैं। यह भी जांचें कि क्या वे ऑनलाइन कक्षाएं, एसएमएस, आईवीआर का उपयोग करने में सक्षम थे।"
शिक्षामंत्री मनीष ने कहा, "इस साल सभी स्कूलों को फिर से खोलने की हमारी कोई एक सामान योजना नहीं हो सकती।"उन्होंने कहा कि दिल्ली के स्कूलों के प्रमुखों के लिए एक गाइडलाइन जारी की गई है। इसके अनुसार, सभी प्राचार्य पहले अपने स्कूल के लिए योजना बनाते समय उन मुद्दों के बारे में चर्चा करेंगे, जिन्हें ध्यान में रखने की आवश्यकता है। यह छोटा समूह बैठक कार्यक्रम के अनुसार 28-30 मई के बीच होगा। बैठक में पिछले कुछ वर्षों के अभ्यास के अनुसार वरिष्ठ स्कूल प्रमुख, डाइट प्राचार्यों आदि द्वारा सुविधा प्रदान की जाएगी।
प्रधानाध्यापकों को अपने स्कूल स्तर की योजना को डीडीई (जोन) को जमा करने के लिए कहा गया है। डीडीई (जिला) 5 जून के बाद उपमुख्यमंत्री को एक जिलावार योजना प्रस्तुत करेगा।उपमुख्यमंत्री ने जोर देते हुए कहा, "हमें यह कैसे सुनिश्चित करना चाहिए कि हम अपने सभी बच्चों के साथ संपर्क में रहें और उनका समर्थन करें, ताकि वे स्कूल न छोड़ें। स्कूल के फिर से खुलने पर दैनिक शिक्षण-अधिगम के लिए कौन सी कक्षाएं आनी चाहिए, ऑनलाइन विधि का उपयोग कैसे किया जाना चाहिए, पिछले साल तक कौन सी नियमित गतिविधियां आयोजित की गई थीं, जो इस वर्ष नहीं होंगी।"इसके अलावा, प्रधानाचार्यो से पूछा गया कि प्राथमिक, उच्च प्राथमिक, माध्यमिक और सीनियर सेकेंडरी कक्षाओं में बच्चों के लिए शैक्षिक लक्ष्य और ध्यान क्या होना चाहिए।
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