Dooru Election Result 2024: कश्मीर की डूरू सीट पर कांग्रेस के गुलाम अहमद मीर की जीत, जानें क्या रहा वोटों का अंतर
कश्मीर की डूरू सीट पर चुनाव के नतीजे सामने आ चुके हैं। डूरू सीट पर कांग्रेस के गुलाम अहमद मीर की जीत हुई है। उन्होंने 29728 वोटों के मार्जिन से जीत हासिल की है।
डूरू: कश्मीर के अनंतनाग जिले के अंतर्गत आने वाली डूरू विधानसभा चुनाव के नतीजे साफ हो चुके हैं। इस सीट पर कांग्रेस के गुलाम अहमद मीर की जीत हुई है। उन्हें कुल 44270 वोट मिले हैं। वहीं दूसरे नंबर पर जम्मू कश्मीर पीपल्स डेमोक्रेटिक पार्टी के मोहम्मद अशरफ मलिक रहे हैं। उन्हें कुल 14542 वोट मिले हैं। मीर ने 29728 वोटों के मार्जिन से जीत हासिल की है।
किसके बीच मुकाबला था?
डूरू से 10 उम्मीदवारों ने चुनावी मैदान में अपनी किस्मत आजमाई थी लेकिन मुख्य मुकाबला 4 उम्मीदवारों के बीच में था। इसमें कांग्रेस के गुलाम अहमद मीर, पीडीपी के मोहम्मद अशरफ मलिक, अपनी पार्टी के बशीर अहमद वानी और डेमोक्रेटिक प्रोग्रेसिव आजाद पार्टी के मोहम्मद सलीम पारे शामिल हैं।
कांग्रेस के पूर्व जम्मू-कश्मीर प्रमुख गुलाम अहमद मीर और पीडीपी उम्मीदवार रिटायर सेशन जज मोहम्मद अशरफ मलिक के बीच कड़ी टक्कर मानी जा रही थी। अशरफ हालही में पीडीपी में शामिल हुए थे। इस क्षेत्र में अशरफ की पकड़ भी काफी मजबूत थी। अपनी पार्टी के उम्मीदवार बशीर अहमद वानी ज्यादा मजबूत नहीं थे, लेकिन वह क्षेत्र में लगातार खुद को मजबूत करने में जुटे थे।
पिछले चुनाव के क्या थे नतीजे?
अनंतनाग की डूरू सीट में पहले भी पीडीपी और कांग्रेस के बीच मुकाबला देखने को मिला था। यहां पर पहले भी पीडीपी ने बाजी मारी थी। साल 2014 के विधानसभा चुनाव में पीडीपी पार्टी के सैयद फारूक अहमद अंद्राबी को 18,150 वोटों से जीत मिली थी, वहीं दूसरे स्थान पर कांग्रेस पार्टी के गुलाम अहमद मीर रहे थे। पीडीपी के सैयद फारूक अहमद अंद्राबी महज 161 वोटों ये जीत अपने नाम की थी।
2008 के विधानसभा चुनाव में कांग्रेस पार्टी के गुलाम अहमद मीर 15,870 वोटों से जीत दर्ज की थी, जबकि दूसरे स्थान पर जेकेपीडीपी पार्टी के सैयद फारूक अहमद अंद्राबी रहे थे। उस दौरान दोनों के बीच जीत का अंतर 5,918 वोट था।
क्या है इस सीट का इतिहास?
साल 1962 से लेकर 1996 तक इस सीट से नेशनल कांफ्रेंस पार्टी के उम्मीदवारों का प्रभाव रहा है और उन्हें जीत हासिल होती रही है। साल 1962 में नेशनल कांफ्रेंस के मीर कासिम विधायक थे,फिर 1977 में हाजी अब्दुल गनी खान, 1983 और 1987 में मोहम्मद अकबर गनी को जीत मिली थी। साल 1996 में गुलाम हसन वानी ने इस सीट पर जीत दर्ज की थी।
साल 2002 में कांग्रेस के गुलाम अहमद मीर के सिर पर ताज सजा, वहीं 2008 में भी गुलाम अहमद मीर दोबारा यहां से निर्वाचित हुए। साल 2014 के विधानसभा चुनाव में सैयद फारुक अहमद अंद्राबी यहां से विधायक चुने गए थे।