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Hindi News भारत उत्तर प्रदेश योगी आदित्यनाथ ने भ्रष्ट कर्मियों के खिलाफ कार्रवाई तेज करने के निर्देश दिए

योगी आदित्यनाथ ने भ्रष्ट कर्मियों के खिलाफ कार्रवाई तेज करने के निर्देश दिए

अपर मुख्य सचिव (गृह) अवनीश अवस्थी ने कहा कि मुख्यमंत्री के निर्देश के बाद इस साल 31 जुलाई तक उप्र में भ्रष्टाचार निवारण संगठन द्वारा रिश्वत लेते हुए 18 लोक सेवकों को रंगे हाथों गिरफ्तार किया जा चुका है।

Yogi orders expeditious actions against corrupt govt officials: ACS- India TV Hindi Image Source : FILE Yogi orders expeditious actions against corrupt govt officials: ACS

लखनऊ: उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने भ्रष्टाचार में लिप्त कर्मियों के विरूद्ध की जा रही कार्यवाही में और अधिक तेजी लाने के निर्देश दिये हैं। अपर मुख्य सचिव (गृह) अवनीश अवस्थी ने कहा कि मुख्यमंत्री के निर्देश के बाद इस साल 31 जुलाई तक उप्र में भ्रष्टाचार निवारण संगठन द्वारा रिश्वत लेते हुए 18 लोक सेवकों को रंगे हाथों गिरफ्तार किया जा चुका है। 

इस अवधि में कुल 150 अधिकारियों एवं कर्मचारियों के विरूद्ध भ्रष्टाचार में लिप्तता के संबंध में कार्यवाही की गई है, जिसमें 33 कर्मी पुलिस विभाग एवं 117 कर्मी अन्य विभागों के हैं। गृह विभाग द्वारा जारी एक बयान के मुताबिक जिन 150 कर्मियों के विरूद्ध कार्यवाही की गई है, उनमें 14 कर्मियों के विरूद्ध खुली जांच, 12 कर्मियों के खिलाफ अभियोग पंजीकरण, आठ के विरूद्ध विभागीय कार्यवाही, 26 के विरूद्ध जांच/स्थानान्तरण करने एवं 90 के विरूद्ध आरोप-पत्र प्रेषित किये जाने की संस्तुति की गई है।

सरकार ने कोविड लॉकडाउन और अनलॉक के दौरान किसानों का पूरा ध्यान रखा :योगी आदित्यनाथ

मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने बृहस्पतिवार को कहा कि राज्य सरकार ने कोविड लॉकडाउन और अनलॉक के दौरान किसानों का पूरा ध्यान रखा, जिसके चलते प्रदेश में कृषि कार्यों में कोई दिक्कत नहीं आयी। उन्होंने कहा कि कोविड-19 के परिप्रेक्ष्य में भारत सरकार द्वारा की गई लॉकडाउन की घोषणा के समय उत्तर प्रदेश में राई, सरसों, चना, मटर, मसूर आदि फसलों की कटाई, मड़ाई का कार्य पूर्ण हो चुका था। उन्होंने कहा कि आत्मनिर्भर भारत कार्यक्रम के तहत केन्द्र सरकार द्वारा राज्यों से संवाद स्थापित किया गया, जिसका लाभ राज्यों की सरकारों को मिला। 

एक सरकारी विज्ञप्ति के अनुसार मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने यह बात बृहस्पतिवार को यहां केन्द्रीय कृषि एवं किसान कल्याण मंत्री नरेन्द्र सिंह तोमर के साथ कृषि अवसंरचना कोष के सम्बन्ध में आयोजित वीडियो कॉन्फ्रेंस के दौरान कही । उन्होंने कहा कि लॉकडाउन का प्रभाव गेहूं की कटाई, मड़ाई के साथ-साथ अन्य आवश्यक वस्तुओं की आपूर्ति श्रृंखला पर पड़ सकता था, परन्तु राज्य सरकार ने बंदी के दौरान कृषि कार्यों को करने की अनुमति दी, जिससे कोई कठिनाई उत्पन्न नहीं हुई। बयान के अनुसार मुख्यमंत्री ने कहा कि किसानों द्वारा रबी से उत्पादित फसलों की खरीद के लिए 5,953 सरकारी क्रय केन्द्र खोले गये एवं क्रय केन्द्रों तक खाद्यान्नों के परिवहन की अनुमति दी गयी। 

इन सरकारी क्रय केन्द्रों से 35.77 लाख टन गेहूं, 38,717 मीट्रिक टन चना तथा 319 मीट्रिक टन सरसों की खरीद हुई। दलहन की खरीद गत वर्ष में कुल खरीद 2,362 मीट्रिक टन खरीद से 16 गुना अधिक रही। जिसकी धनराशि किसानों के खाते में सीधे प्रेषित की गयी। उन्होंने कहा कि गन्ना उत्तर प्रदेश की सर्वाधिक महत्वपूर्ण नकदी फसल है, राज्य सरकार के निर्देशानुसार प्रदेश की सभी 119 चीनी मिलें पूरी क्षमता से चलाई गयीं। इस वर्ष 1,118.02 लाख मी0 टन गन्ने की पेराई से 126.36 लाख मी0 टन चीनी का उत्पादन हुआ। 

मुख्यमंत्री ने कहा कि आत्मनिर्भर भारत योजना के अन्तर्गत देश में कृषि एवं कृषि से सम्बन्धित क्षेत्र में भण्डारण, प्रसंस्करण एवं कृषि उत्पादन के विपणन से सम्बन्धित आवश्यक अवस्थापना सुविधाओं एवं लॉजिस्टिक युक्त कोल्ड चेन आदि सुविधाओं के सृजन के लिये अगले चार वित्तीय वर्षों (2020-21 से 2023-24 तक) में 1 लाख करोड़ रुपए का निवेश करने की योजना है। इस योजना के तहत उत्तर प्रदेश के लिये लगभग 12 हजार 900 करोड़ रुपये का परिव्यय होना है। इस योजना के तहत कई प्रकार की अवस्थापना सुविधाओं सहित प्रसंस्करण, कोल्ड चेन, ग्रेडिंग, भण्डारण पैकेजिंग, विपणन से सम्बन्धित कार्य किया जा सकता है। वीडियो कॉन्फ्रेंस के दौरान केन्द्रीय कृषि एवं किसान कल्याण मंत्री नरेन्द्र सिंह तोमर ने कहा कि लॉकडाउन के दौरान केन्द्र सरकार ने कृषि कार्यों को छूट दी थी। इसके चलते कृषि की अच्छी पैदावार हुई है। 

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