लखनऊ: देश भर में एससी एसटी एक्ट के बाद शुरू हुआ विवाद धीरे-धीरे और गर्माता जा रहा है। भारत बंद के दौरान हिंसा और उसके बाद हो रही पुलिसिया कार्रवाई के चलते कई दलित नेता बीजेपी सरकारों के खिलाफ खुलकर उत्पीड़न का आरोप लगा रहे हैं। बीजेपी सरकार पर ताजा प्रहार बीएसपी सुप्रीमो मायावती ने किया है। मायावती ने मीडिया से बात करते हुए कहा है कि देश में इमरजेंसी से बदतर हालात हैं।
आंदोलन से डरी भाजपा ने दलितों का उत्पीड़न शुरू कर दिया है। भाजपा शासित राज्यों में प्रशासनिक अफसर दलित परिवारों को गिरफ्तार कर रहे हैं। बीजेपी आग से खेल रही है। मायावती ने अपनी सरकार बनने पर दलितों के खिलाफ किए गए केस वापस लेने का भी ऐलान किया है। इसके बाद मायावती ने भाजपा के दलित सासंदों पर तंज कसते हुए कहा कि मुझे भरोसा है कि देश के स्वाभिमानी दलित समाज के लोग स्वार्थी और बिकाऊ मानसिकता वाले सासंदों को माफ नहीं करेंगे। 2 अप्रैल को भारत बंद के दौरान हुई हिंसा के बाद से बीजेपी दलित सांसद एक एक करके अपनी ही पार्टी के खिलाफ बगावत के सुर बुलंद कर रहे हैं।
उत्तर प्रदेश के बहराइज से बीजेपी सांसद सावित्रीबाई फुले और रॉबर्ट्सगंज से सांसद छोटेलाल खरवार नगीना से सांसद यशवंत सिंह इससे पहले सार्वजनिक रूप से अपना नाराजगी जता चुके हैं। आज सुबह ही दिल्ली से बीजेपी सांसद उदित राज भी अपनी ही पार्टी की सरकार के खिलाफ भारत बंद के बाद दलितों के उत्पीड़न का आरोप लगा चुका हैं।
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