बुलंदशहर: अपनी बेगम की याद में 'मिनी ताजमहल' बनवाने वाले उत्तर प्रदेश के बुलंदशहर जिले के निवासी फैजुल हसन कादरी का निधन हो गया है। रिपोर्ट्स के मुताबिक, 87 वर्षीय कादरी अपने घर के बाहर खड़े थे, इसी दौरान एक बाइक सवार ने उन्हें टक्कर मार दी। परिजन आनन-फानन में कादरी को अस्पताल ले गए, लेकिन उन्हें बचाया नहीं जा सका। शुक्रवार को अलीगढ़ मेडिकल कालेज में इलाज के दौरान उन्होंने दम तोड़ दिया। शनिवार को बुलंदशहर के ‘शाहजहां’ कहे जाने वाले हसन कादरी को सुपुर्द-ए-खाक कर दिया गया।
ऐसे आए थे चर्चा में
84 साल के हसन कादरी को बुलंदशहर के कसेर कलां गांव में मिनी ताजमहल बनवाने के लिए जाना जाता है। 2011 में हसन कादरी की बीवी ने मरने से पहले कोई यादगार चीज बनावने की इच्छा जाहिर की थी। अपनी बीवी की इच्छा पूरी करने के लिए हसन कादरी ने पहले तो अपनी लाखों की जमीन सरकार को स्कूल बनाने के लिए दान कर दी, जिसपर कसरे कलां गांव में लड़कियों के लिए स्कूल बनवाया गया। इसके बाद उन्होंने बीवी की याद में स्कूल के पास ही एक मिनी ताजमहल का भी निर्माण शुरू कर दिया। कादरी पिछले 6 सालों से यह ताजमहल बनवा रहे थे।
अधूरी रह गई हसरत
कादरी का निकाह ताजामुल्ली से 1953 में हुआ था। निकाह के 58 साल बाद यानी 2011 में कैंसर से ताजामुल्ली का इंतकाल हो गया। पेशे से पोस्टमैन रहे हसन कादरी ने अपनी जिंदगी की जमा-पूंजी ताजमहल को बनवाने में खर्ज कर दी थी, हालांकि इसमें अभी थोड़ा-बहुत काम रह गया था। यह काम भी पूरा हो जाता, लेकिन शुक्रवार रात अचानक एक सड़क हादसे में वह चल बसे। कादरी को मिनी ताजमहल के बगल में ही दफनाया गया।
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