पटना. उत्तर प्रदेश में अगले साल होने वाले विधानसभा चुनाव के लिए भाजपा ने तैयारियां शुरू कर दी हैं। भारतीय जनता पार्टी के नेताओं को दावा है कि उसे राज्य में फिर से 300 से ज्यादा सीटें मिलेंगी। इस चुनाव में भाजपा की गठबंधन को लेकर भी कई पार्टियों से बातचीत चल रही है। इस बीच बिहार में भाजपा की सहयोगी जेडीयू की तरफ से एक ऐसा बयान सामने आया है, जिसमें कहा गया है कि अगर भाजपा ने उनके साथ गठबंधन नहीं किया तो पार्टी 200 से ज्यादा विधानसभा सीटों पर चुनाव लड़ेगी। अंग्रेजी अखबार इंडियन एक्सप्रेस में ये जानकारी दी गई है।
अंग्रेजी अखबार इंडियन एक्सप्रेस में छपी खबर के अनुसार, JDU ने मंगलवार को कहा कि अगर भाजपा 2022 के लिए गठबंधन के उसके आह्वान का जवाब नहीं देती है तो वह पड़ोसी राज्य उत्तर प्रदेश में 200 से अधिक सीटों पर चुनाव लड़ेगी। जानकार इसे जेडीयू की दबाव की रणनीति बता रहे हैं, हालांकि जेडीयू के लोगों का कहना है कि उनकी पार्टी बिहार के बाहर भी आधार रखती है, जिसे विस्तार दिया जा रहा है।
आपको बता दें कि JD(U) 2017 के यूपी चुनावों से पहले आखिरी क्षणों में मुकाबले से हट गई थी क्योंकि पार्टी एनडीए में वापसी की तैयारी कर रही थी। इंडियन एक्सप्रेस से बातचीत में जेडीयू के जनरल सेक्रेटरी और राष्ट्रीय प्रवक्ता केसी त्यागी ने कहा, "मैं पहले ही यूपी के सीएम योगी आदित्यनाथ को बीजेपी के साथ गठबंधन की अपनी पार्टी की इच्छा से अवगत करा चुका हूं। उन्होंने अभी तक हमारे कॉल का जवाब नहीं दिया है।"
त्यागी ने आगे कहा कि पार्टी ने खुद को यूपी में आयोजित किया है और राज्य में कई बैठकें की हैं, खासकर पूर्वांचल बेल्ट में। उन्होंने कहा कि अगर दोनों पार्टियों के बीच में गठबंधन नहीं होता, तो जेडीयू राज्य में 200 से अधिक सीटों पर चुनाव लड़ेगी, जहां कोइरी-कुर्मी वोटर्स की अच्छी खासी आबादी है।
उन्होंने कहा कि हम रूहेलखंड (बरेली और आसपास के क्षेत्र), मध्य यूपी और पूर्वांचल (वाराणसी और पड़ोसी जिले) में काम कर रहे हैं। कम से कम 16 जिले ऐसे हैं जहां हम उम्मीदवार उतार सकते हैं। केसी त्यागी ने कहा कि हमारे नेता नीतीश कुमार के साथ पार्टी के संसदीय बोर्ड के अध्यक्ष उपेंद्र कुशवाहा और पार्टी के राष्ट्रीय अध्यक्ष आरसीपी सिंह का यूपी के मतदाताओं पर भी प्रभाव पड़ेगा।
यह पूछे जाने पर कि क्या यह दबाव की रणनीति है, क्योंकि केंद्रीय मंत्रिमंडल के अनुमानित विस्तार में जद (यू) की सीट पर कोई बात सामने नहीं आई है। त्यागी ने कहा, "दोनों के बीच कोई संबंध नहीं है। हमारे नेता नीतीश कुमार ने भी यह स्पष्ट कर दिया है कि उनका हाल का दिल्ली दौरा व्यक्तिगत था और इसका किसी कैबिनेट विस्तार से कोई लेना-देना नहीं था...हमने अतीत में अन्य राज्यों में चुनाव लड़ा है क्योंकि हर राजनीतिक दल को अपना आधार बढ़ाने का प्रयास करने का अधिकार है।"
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