लखनऊ: उत्तर प्रदेश के पूर्व मुख्यमंत्री व समाजवादी पार्टी के संस्था पक अध्यक्ष मुलायम सिंह यादव ने शुक्रवार को कहा कि केंद्रीय मंत्री राम विलास पासवान के निधन से दलितों ने अपनी एक बुलंद आवाज खो दी है। मुलायम ने शुक्रवार को जारी एक शोक संदेश में कहा कि पासवान का निधन उनकी व्यदक्तिगत और अपूरणीय क्षति है। उन्होंने कहा कि उनके सांसद पुत्र चिराग पासवान और पूरे परिवार को इस शोक को सहने की शक्ति मिले यही मेरी श्रद्धांजलि और प्रार्थना है।
‘पासवान के निधन से बहुत दुखी और मर्माहत हूं’
मुलायम ने अपने शोक संदेश में कहा, ‘समाजवादी आंदोलन से राजनीति में आये लोकनायक जयप्रकाश नारायण की संपूर्ण क्रांति के नेता, देश के प्रमुख दलित नेता, मेरे घनिष्ठर मित्र और केंद्र सरकार में सहयोगी रहे राम विलास पासवान के निधन से बहुत दुखी और मर्माहत हूं।’ मुलायम ने कहा कि गठबंधन की राजनीति से भारत में अपनी पहचान बनाने वाले राम विलास पासवान की पार्टी बिहार में कभी बड़ी पार्टी नहीं बन पाई लेकिन देश की राजनीति में उनका कद उनकी पार्टी से बहुत ऊंचा था। मुलायम ने कहा कि उन्होंेने कई दशकों तक देश के अनेक प्रधानमंत्रियों के साथ काम करते हुए दलितों और पिछड़ों के आरक्षण की लड़ाई लड़ी थी।
74 साल की उम्र में हुआ पासवान का निधन
बता दें कि देश के प्रमुख दलित नेताओं में से एक केन्द्रीय मंत्री रामविलास पासवान का 74 वर्ष की आयु में गुरुवार को निधन हो गया। लोक जनशक्ति पार्टी के संस्थापक और उपभोक्ता मामले, खाद्य एवं सार्वजनिक वितरण मंत्री पासवान कई सप्ताह से यहां के एक अस्पताल में भर्ती थे। हाल ही में उनके हृदय की सर्जरी हुई थी। फार्टिस एस्कॉर्ट हार्ट इंस्टीट्यूट द्वारा जारी बयान के अनुसार, पिछले 24 घंटों में पासवान के स्वास्थ्य में गिरावट आई और गुरुवार को शाम 06:05 पर उन्होंने अंतिम सांस ली। समाजवादी आंदोलन के स्तंभों में से एक पासवान बाद के दिनों में बिहार के प्रमुख दलित नेता के रूप में उभरे और जल्दी ही राष्ट्रीय राजनीति में अपनी विशेष जगह बना ली थी।
Latest Uttar Pradesh News