लखनऊ. बहुजन समाज पार्टी उत्तर प्रदेश चुनाव से पहले लगातार ब्राह्मण मतदाताओं को रिझाने का प्रयास कर रही है। इसी कड़ी में आज लखनऊ में आयोजित किए गए प्रबुद्ध सम्मेलन में खुद बसपा प्रमुख मायावती ने शिरकत की। कार्यक्रम में मायावती के पहुंचते ही बसपा समर्थक ब्राह्मणों ने शंख बजाकर उनका स्वागत किया। बसपा के सीनियर नेता और ब्राह्मण फेस सतीश चंद्र मिश्र ने भगवान गणेश की प्रतिमा भेंट की।
कार्यक्रम में बोलते हुए बसपा प्रमुख ने कहा कि दलित वर्ग के लोगों पर शुरू से गर्व रहा है कि उन्होंने बिना गुमराह और बहकावे में आए कठिन से कठिन दौर में भी पार्टी का साथ नहीं छोड़ा। ये लोग मज़बूत चट्टान की तरह पार्टी के साथ खड़े रहे हैं। उम्मीद है कि BSP से जुड़े अन्य सभी वर्गों के लोग इनकी तरह आगे कभी गुमराह नहीं होंगे।
उन्होंने आगे कहा कि अब ब्राम्हण समाज के लोग भी कहने लगे हैं कि, हमने BJP के प्रलोभन भरे वादों के बहकावे में आकर पूर्ण बहुमत की सरकार बनाकर बहुत बड़ी गलती की है। BSP की रही सरकार ने ब्राम्हण समाज के लोगों के सुरक्षा, सम्मान, तरक्की के मामले में हर स्तर पर अनेको ऐतिहासिक कार्य किए हैं। बसपा द्वारा आयोजित किए गए इस प्रबुद्ध सम्मेलन में यूपी के सभी जिलों से बड़ी संख्या में ब्राह्मण समुदाय के लोग पहुंचे थे।
'अब पार्क नहीं विकास पर रहेगा ध्यान'
मायावती ने कार्यक्रम में कहा कि अगर सरकार बनती है तो वो अब सिर्फ यूपी के विकास पर ध्यान देंगी न कि पार्क और स्मारक बनाने पर। उन्होंने कार्यक्रम में आए लोगों से कहा कि वो 9 अक्टूबर को कांशीराम की पुण्यतिथि पर कांशीराम स्मारक स्थल पर पहुंचकर उन्हें श्रद्धांजलि दे। इस दौरान उन्होंने RSS प्रमुख पर हमला बोलते हुए कहा, "मैं उनसे पूछना चाहती हूं कि अगर भारत में हिंदुओं और मुसलमानों के पूर्वज एक जैसे हैं तो आरएसएस और उनकी बीजेपी मुसलमानों से साथ सौतेला व्यवहार क्यों करते हैं?"
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