Old Pension System: कांग्रेस नेता और सांसद राहुल गांधी (Rahul Gandhi) ने पेंशन सिस्टम बहाल करने को लेकर बड़ा ऐलान किया है और बीजेपी पर निशाना भी साधा है। राहुल ने ट्वीट में तंज कसते हुए कहा, 'पुरानी पेंशन खत्म कर, भाजपा ने बुजुर्गों को आत्मनिर्भर से निर्भर बना दिया। पुरानी पेंशन देश को मजबूत करने वाले सरकारी कर्मचारियों का हक है। हमने राजस्थान, छत्तीसगढ़ में पुरानी पेंशन बहाल की है। अब गुजरात में भी कांग्रेस सरकार आएगी, फिर पुरानी पेंशन लाएगी।'
इससे पहले राहुल गांधी (Rahul Gandhi) ने ट्वीट कर कहा था, 'महंगे दिनों से नाता तोड़ो, अच्छे दिन के जुमले छोड़ो। सच्चे दिनों के पन्ने जोड़ो। भारत जोड़ो, भारत जोड़ो।' बता दें कि राहुल गांधी इस समय कांग्रेस की भारत जोड़ो यात्रा की वजह से चर्चा में है। उनकी इस यात्रा में खूब भीड़ देखी जा रही है और वह जनता के साथ काफी घुलते-मिलते दिखाई दे रहे हैं।
कांग्रेस अध्यक्ष पद को लेकर चर्चाएं तेज
बता दें कि कांग्रेस अध्यक्ष पद का चुनाव नजदीक आने के साथ ही पार्टी के भीतर राहुल गांधी (Rahul Gandhi) को एक बार फिर से अध्यक्ष बनाने की मांग तेज हो गई है। इसी क्रम में सोमवार को भी सात प्रदेश कांग्रेस कमेटियों समेत पार्टी की आठ स्थानीय इकाइयों ने राहुल गांधी के समर्थन में प्रस्ताव पारित किए। कांग्रेस की इन इकाइयों ने ये प्रस्ताव उस वक्त पारित किए हैं, जब बीते 9 सितंबर को कन्याकुमारी में राहुल गांधी ने यह संकेत दिया था कि वह पार्टी का अध्यक्ष बनने के अपने पुराने फैसले पर कायम हैं।
राजस्थान, गुजरात और छत्तीसगढ़ के बाद आज तमिलनाडु, महाराष्ट्र, जम्मू-कश्मीर, बिहार और मुंबई की कांग्रेस इकाइयों ने प्रस्ताव पारित कर कहा कि राहुल गांधी को एक बार फिर से पार्टी की कमान संभालनी चाहिए। कई प्रदेश कांग्रेस कमेटियों ने यह प्रस्ताव उस समय पारित किया है, जब मंगलवार को कांग्रेस की प्रदेश इकाइयां यह प्रस्ताव पारित कर कहा कि कांग्रेस के अगले अध्यक्ष को इसके लिए अधिकृत करें कि वह नए प्रदेश अध्यक्षों और अखिल भारतीय कांग्रेस कमेटी के डेलीगेट की नियुक्ति करें। राहुल गांधी को अध्यक्ष बनाने की मांग वाले प्रस्ताव पारित करने की शुरुआत राजस्थान और छत्तीसगढ़ ने की।
अध्यक्ष पद के लिए चुनाव नहीं लड़ूंगा, तो कारण बता दूंगा- राहुल
कांग्रेस की कई प्रदेश इकाइयों ने राहुल गांधी (Rahul Gandhi) से यह अपील उस वक्त की है जब 22 सितंबर को पार्टी अध्यक्ष के चुनाव की अधिसूचना जारी होने वाली है। राहुल गांधी ने इस महीने की शुरूआत में कहा था कि उन्होंने फैसला कर लिया है, लेकिन अपनी योजनाओं का खुलासा नहीं करेंगे। उन्होंने यह भी कहा था कि यदि पार्टी के अध्यक्ष पद के लिए वह आगामी चुनाव नहीं लड़ेंगे, तो वह इसके कारण बता देंगे। राहुल की टिप्पणी को पार्टी में इस संकेत के तौर पर देखा गया है कि वह पार्टी के अध्यक्ष पद के लिए चुनाव लड़ने को इच्छुक नहीं है।
हाल के दिनों में कांग्रेस के कई वरिष्ठ नेताओं ने कहा है कि राहुल (Rahul Gandhi) के पार्टी अध्यक्ष नहीं बनने पर भी पार्टी में गांधी परिवार का विशेष स्थान बना रहेगा। कांग्रेस के वरिष्ठ नेता पी चिदंबरम ने अखिल भारतीय कांग्रेस कमेटी (AICC) के अध्यक्ष के चयन के लिए आम सहमति का रविवार को समर्थन किया। उन्होंने कहा कि राहुल गांधी पार्टी के अध्यक्ष हों या नहीं हों, उनका पार्टी में हमेशा 'विशेष स्थान' रहेगा, क्योंकि पार्टी के आम कार्यकर्ताओं में उनकी 'स्वीकार्यता' है।
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