Jharkhand News: झारखंड में मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन के विधायक रहने या न रहने के भ्रम के बीच सोमवार को विधानसभा में विश्वास मत प्रस्ताव पेश किया जायेगा। हालांकि इस प्रस्ताव की मांग विपक्ष के द्वारा नहीं की गई है। इसलिए राजनीतिक पंडित इसे हेमंत सरकार का शक्ति प्रदर्शन कह रहे हैं। विधानसभा सचिवालय द्वारा विधायकों को भेजे गए पत्र के अनुसार, मुख्यमंत्री ने बहुमत साबित करने के लिए विश्वास मत प्रस्ताव लाने की इच्छा जाहिर की है।
आज BJP विधायक दल की बैठक
राज्य में जारी राजनीतिक गतिरोध के बीच आज रविवार को विपक्षी दल भारतीय जनता पार्टी ने सदन में अपनी रणनीति तैयार करने के लिए विधायक दल की बैठक बुलाई है। वहीं दुमका विवाद और पार्टी के देवघर से सांसद निशिकांत दुबे और मनोज तिवारी के ऊपर की गई FIR के बाद पार्टी को सरकार को घेरने का एक और मौका मिल गया है। माना जा रहा अहि कि बीजेपी इस मुद्दे को लेकर जोरदार हंगामा करेगी।
'हम विधानसभा में अपनी बात रखेंगे और बहुमत साबित करेंगे'
वहीं संसदीय कार्य मंत्री आलमगीर आलम ने कहा कि, "झारखंड में असमंजस की स्थिति बनी हुई है। हमारे प्रतिनिधिमंडल ने गुरुवार को राज्यपाल से मुलाकात की थी और उन्होंने हमें एक या दो दिन में स्थिति साफ करने का आश्वासन दिया था, लेकिन अब तक कुछ नहीं हुआ। इसलिए हम विधानसभा में अपनी बात रखेंगे और बहुमत साबित करेंगे।"
25 अगस्त को ही EC ने भेजा था अपना फैसला
बता दें कि लाभ के पद के मामले में मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन को विधानसभा से अयोग्य ठहराने की भाजपा की याचिका के बाद, चुनाव आयोग (ईसी) ने 25 अगस्त को राज्यपाल रमेश बैस को अपना फैसला भेजा था, जिससे राज्य में राजनीतिक संकट पैदा हो गया है। हालांकि चुनाव आयोग के फैसले को अभी तक आधिकारिक नहीं किया गया है, लेकिन चर्चा है कि चुनाव आयोग ने एक विधायक के रूप में मुख्यमंत्री की अयोग्यता की सिफारिश की है।
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