A
Hindi News भारत राजनीति तो BJP ने इसलिए यूपी से जफर इस्लाम को दिया राज्यसभा का टिकट

तो BJP ने इसलिए यूपी से जफर इस्लाम को दिया राज्यसभा का टिकट

उत्तर प्रदेश में भाजपा विधायकों के संख्या बल को देखते हुए अमर सिंह के निधन से खाली हुई सीट से जफर इस्लाम का राज्यसभा के लिए चुना जाना तय माना जा रहा है। उनका कार्यकाल 2022 तक होगा।

Why BJP named Jafar Islam its candidate for Rajya Sabha । तो BJP ने इसलिए यूपी से जफर इस्लाम को दिया- India TV Hindi Image Source : FILE Why BJP named Jafar Islam its candidate for Rajya Sabha? । तो BJP ने इसलिए यूपी से जफर इस्लाम को दिया राज्यसभा का टिकट

नई दिल्ली. उत्तर प्रदेश में अमर सिंह के निधन से खाली हुई राज्यसभा सीट के लिए यूं तो बीजेपी में कई हाईप्रोफाइल चेहरे दावेदार थे, लेकिन पार्टी ने सैय्यद जफर इस्लाम पर दांव खेलकर सबको चौंका दिया। पार्टी के दूसरे प्रवक्ताओं और नेताओं से अपेक्षाकृत कम चर्चित जफर इस्लाम को राज्यसभा भेजने की तैयारी कर बीजेपी अपने काडर को बड़ा संदेश देने जा रही है। ये संदेश है कि पार्टी को नामदार नहीं कामदार चाहिए। यानी सुर्खियों में रहने की जगह पार्टी के लिए ठोस काम करने वालों को ही तवज्जो मिलेगी। राज्यसभा सदस्य बनते ही बीजेपी के पास तीन मुस्लिम सांसद हो जाएंगे। फिलहाल, केंद्रीय मंत्री मुख्तार अब्बास नकवी और पूर्व विदेश राज्य मंत्री एमजे अकबर पार्टी के राज्यसभा सांसद हैं।

पढ़ें- मुख्तार अंसारी की मुश्किलें बढ़ना तय! सीएम योगी आदित्यनाथ ने कही ये बात

पार्टी के एक वरिष्ठ नेता ने IANS से कहा, "प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने वर्ष 2018 की एक रैली में कांग्रेस पर निशाना साधते हुए 'नामदार बनाम कामदार' का नारा दिया था। बेशक नारे का इस्तेमाल विपक्ष पर निशाना साधने के लिए किया गया था, लेकिन संदेश पार्टी के नेताओं के लिए भी छिपा था। संदेश ये था कि सुर्खियों में रहने से ज्यादा जरूरी है, पार्टी के लिए खामोशी से काम करना।"

पढ़ें- लगातार बढ़ते कोरोना मामलों को देखते हुए यूपी सरकार ने लिया बड़ा फैसला

पार्टी नेता ने आगे कहा, "किसी ने सोचा भी नहीं था कि पार्टी के लो-प्रोफाइल चेहरे जफर इस्लाम ज्योतिरादित्य सिंधिया जैसे कांग्रेस के बड़े नेता को भाजपा में लाने में सफल होंगे। एक प्रवक्ता, अगर मध्य प्रदेश में पार्टी की सरकार बनाने में अहम योगदान देता है तो फिर उसे इनाम तो मिलना ही चाहिए।"

उत्तर प्रदेश में भाजपा विधायकों के संख्या बल को देखते हुए अमर सिंह के निधन से खाली हुई सीट से जफर इस्लाम का राज्यसभा के लिए चुना जाना तय माना जा रहा है। उनका कार्यकाल 2022 तक होगा।

पढ़ें- हिंदू देवी-देवताओं पर अश्लील टिप्पणी से भड़का अखाड़ा परिषद, कह दी ये बड़ी बात

जफर इस्लाम के जरिए एक तीर से बीजेपी कई निशाने साधने की कोशिश में है। जफर के रूप में मुस्लिम वर्ग में बीजेपी एक और प्रभावी नेता तैयार करने की कोशिश में है। भाजपा के पास फिलहाल, केंद्रीय अल्पसंख्यक कार्य मंत्री मुख्तार अब्बास नकवी, पूर्व विदेश राज्य मंत्री एमजे अकबर और पूर्व केंद्रीय मंत्री शहनवाज हुसैन ही ऐसे चेहरे हैं, जिन्हें लोग जानते हैं। मी टू कैंपेन के चलते मंत्री पद छोड़ने के बाद से एमजे अकबर की पहले जैसी राजनीतिक सक्रियता नहीं दिख रही है। पार्टी सूत्रों का कहना है कि ऐसे में मुस्लिम समाज के पढ़े-लिखे चेहरे जफर इस्लाम को राज्यसभा सदस्य बनाकर और प्रभावी चेहरे के तौर पर राजनीति में स्थापित करने की तैयारी है।

पढ़ें- Delhi Riots पर लिखी किताब की रिकॉर्ड बुकिंग, अब BJP ने बनाया ये प्लान

कई बड़े दावेदारों के बावजूद सैय्यद जफर इस्लाम को यूपी से राज्यसभा भेजने के पीछे ज्योतिरादित्य सिंधिया को पार्टी में लाने का इनाम माना जा रहा है। ज्योतिरादित्य सिंधिया के भाजपा में आने के कारण ही कमलनाथ सरकार गिरी और जिससे शिवराज सिंह चौहान की फिर से मध्य प्रदेश में सरकार बन सकी। कहा जा रहा है कि पार्टी ने जफर इस्लाम की मेहनत को जिस तरह से राज्यसभा टिकट का इनाम दिया है, उससे पार्टी के जमीनी काडर में एक सकारात्मक संदेश गया है कि लामबंदी नहीं बल्कि काम करने पर पुरस्कार मिलना तय है।

पढ़ें- लद्दाख को हिमाचल से नए रणनीतिक रास्ते के जरिए जोड़ने का काम तेज, सेना के लिए ये सड़क होगी बेहद महत्वपूर्ण

पृष्ठभूमि की बात करें तो जफर इस्लाम प्रोफेशनल बैंकर हैं। मूलत: झारखंड के रहने वाले जफर इस्लाम डॉइच बैंक के मैनेजिंग डायरेक्टर रह चुके हैं। करीब सात साल से वो भाजपा में हैं। 2014 के लोकसभा चुनाव के दौरान वो प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की टीम में काम कर चुके हैं। उन्हें पार्टी संगठन में प्रवक्ता की जिम्मेदारी है। वो एयर इंडिया बोर्ड के स्वतंत्र निदेशक भी हैं। अमर सिंह के निधन से खाली हुई उत्तर प्रदेश की राज्यसभा सीट पर 11 सितंबर को चुनाव होना है।

Latest India News