नई दिल्ली. सूत्रों से मिली जानकारी के अनुसार, डीएमके नेता तिरुची शिवा राज्यसभा उपसभापति पद के लिए विपक्ष के साझा उम्मीदवार बनाए जा सकते हैं। राज्यसभा का उपसभापति पद अप्रैल 2020 के बाद से खाली पड़ा है। पिछली बार इस पद पर बीके हरिप्रसाद विपक्षी दलों के साझा उम्मीदवार थे, उन्हें टीएमसी, डीएमके, लेफ्ट पार्टियों, समाजवादी पार्टी, बसपा और एनसीपी का समर्थन हासिल था।
244 सदस्यों वाली राज्यसभा में बहुमत का आंकड़ा 123 था लेकिन कई सदस्यों के अनुपस्थित होने के कारण ये आंकड़ा घटकर 119 पर आ गया। जिस वजह से कांग्रेस पार्टी के बीके हरिप्रसाद को 20 वोटों से हार का सामना करना पड़ा। हरिवंश नारायण सिंह को 125 वोट मिले जबकि बीके हरिप्रसाद को 105 वोट ही मिल पाए।
कांग्रेस ने अहमद पटेल और गुलाम नबी आजाद को दी महत्वपूर्ण जिम्मेदारी
विपक्ष की तरफ से किसी भी प्रत्याशी की घोषणा से पहले कांग्रेस पार्टी ने दो वरिष्ठ नेताओं अहमद पटेल और गुलाम नबी आजाद को समान विचारधारा वाले दलों से बातचीत कर समर्थन जुटाने के लिए कहा है।
पिछली बार, विपक्षी दलों को आखिरी समय तब झटका लगा, जब आम आदमी पार्टी द्वारा चुनाव का बहिष्कार कर दिया गया। इस बार भी कांग्रेस के सामने यही चुनौती होगी कि क्या वो सभी विपक्षी दलों और क्षेत्रिय पार्टियों को अपने साथ लेकर आ पाएगी या फिर पिछली बार की तरह की उसके प्रयास पूरी तरह बेकार साबित होंगे।
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