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Hindi News भारत राजनीति हिंदू-मुस्लिम दंपति के पासपोर्ट मामले में ट्रोल हुईं सुषमा स्वराज, दिया ये जवाब

हिंदू-मुस्लिम दंपति के पासपोर्ट मामले में ट्रोल हुईं सुषमा स्वराज, दिया ये जवाब

एक हिंदू - मुस्लिम दंपति को पासपोर्ट जारी करने को लेकर हुए विवाद में विदेश मंत्री सुषमा स्वराज आज ट्विटर पर ट्रोल हुईं और उनके खिलाफ गाली - गलौज वाली भाषा का इस्तेमाल किया गया।

<p>Sushma Swaraj trolled on Twitter over issuance of...- India TV Hindi Sushma Swaraj trolled on Twitter over issuance of passport to inter-faith couple

नयी दिल्ली: एक हिंदू - मुस्लिम दंपति को पासपोर्ट जारी करने को लेकर हुए विवाद में विदेश मंत्री सुषमा स्वराज आज ट्विटर पर ट्रोल हुईं और उनके खिलाफ गाली - गलौज वाली भाषा का इस्तेमाल की गई। पिछले सप्ताह, पासपोर्ट सेवा केंद्र के एक अधिकारी विकास मिश्र का लखनऊ से तब तबादला कर दिया गया था जब एक हिंदू - मुस्लिम दंपति ने आरोप लगाया था कि पासपोर्ट आवेदन के साथ कार्यालय जाने पर उन्होंने उन्हें अपमानित किया। दंपति के अनुसार मिश्र ने पति को हिंदू धर्म स्वीकार करने को कहा और एक मुस्लिम से शादी करने के लिये महिला की खिंचाई की। सोशल मीडिया के एक हिस्से ने सुषमा और उनके मंत्रालय के खिलाफ मिश्र पर कार्रवाई करने के लिये हमला किया। लोगों का कहना था कि मिश्र सिर्फ अपना काम कर रहे थे। सुषमा ने अपने ट्वीट में कहा, ‘मैं 17 से 23 जून 2018 के बीच भारत से बाहर थी। मैं नहीं जानती कि मेरी अनुपस्थिति में क्या हुआ। हालांकि, मुझे कुछ ट्वीट से सम्मानित किया गया। मैं इसे आपके साथ साझा कर रही हूं। इसलिये मैंने उन्हें पसंद किया है।’

एक ट्वीट में कहा गया , ‘‘ पक्षपातपूर्ण फैसला। # मैं विकास मिश्र का समर्थन करता हूं। मैडम आप पर शर्म आती है --- क्या यह आपकी इस्लामी किडनी का असर है। ’’ हालांकि , मंत्री ने इन अप्रिय बातों को बहादुरी से स्वीकार किया और उनमें से कुछ ट्वीट को रिट्वीट किया। हालांकि , इन ट्वीटों में गाली - गलौज वाली भाषा का इस्तेमाल किया गया था और ये सांप्रदायिक प्रकृति के थे। सुषमा ने अपने ट्वीट में कहा , ‘‘ मैं 17 से 23 जून 2018 के बीच भारत से बाहर थी। मैं नहीं जानती कि मेरी अनुपस्थिति में क्या हुआ। हालांकि , मुझे कुछ ट्वीट से सम्मानित किया गया। मैं इसे आपके साथ साझा कर रही हूं। इसलिये मैंने उन्हें पसंद किया है। ’’

मिश्र ने अपने बचाव में कहा था कि वह धर्मनिरपेक्ष हैं और उन्होंने महिला से कहा था कि उनके ‘ निकाहनामा ’ में उनका नाम शाजिया अनस दिखाया गया है , जिसका उनकी फाइल में अनुमोदन होना चाहिये। उन्होंने मीडिया से कहा ‘‘ दंपति ने इससे इंकार कर दिया। अगर उन्होंने सहमति दी होती तो हम डाटा संशोधन के लिये इसे ‘ ए ’ सेक्शन को भेज देते। हमें देखना है कि कौन व्यक्ति किस नाम से पासपोर्ट ले रहा है। यह एक दस्तावेजी साक्ष्य है , कैसे हम उसकी अनदेखी कर सकते हैं। मैं धर्मनिरपेक्ष हूं और मैंने खुद अंतरजातीय विवाह किया है। ’’

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