नई दिल्ली: कांग्रेस में मचे घमासान पर पार्टी के वरिष्ठ नेता और तिरुवनंतपुरम से सांसद शशि थरूर का बड़ा बयान सामने आया है। शशि थरूर ने ट्वीट कर अपने सहयोगियों से इस मुद्दे पर शांति बनाए रखने की अपील की है। उन्होंने कहा कि वह पार्टी में जारी घटनाक्रमों के बीच बीते चार दिनों से चुप थे क्योंकि कांग्रेस अध्यक्ष ने कहा था कि मामला हमारे आपस का है।
शशि थरूर ने ट्वीट किया, "मैं कांग्रेस में हो रही हाल की घटनाओं पर 4 दिनों से चुप हूं क्योंकि एक बार जब कांग्रेस अध्यक्ष कहते हैं कि मुद्दा हमारे बीच का है, तो यह हम सभी का कर्तव्य है कि हम पार्टी के हितों में रचनात्मक रूप से काम करें। मैं अपने सभी सहयोगियों से इस सिद्धांत को बनाए रखने और बहस को समाप्त करने का आग्रह करता हूं।"
गौरतलब है कि सोनिया गांधी को चिट्ठी लिखने वाले कांग्रेस के 23 नेताओं में शशि थरूर भी शामिल हैं। कांग्रेस के नेताओं की चिट्ठी लिखने के बाद से ही पार्टी में चर्चाओं का दौर जारी है। पार्टी नेताओं की चिट्ठी के बाद सोमवार को हुई कांग्रेस कार्यसमिति की बैठक में भी इस मामले पर काफी विवाद हुआ।
इस बीच शिवसेना नेता संजय राउत ने कहा है कि एक पत्रकार और संपादक के तौर पर मुझे कांग्रेस में कोई गैर गांधी नेता पार्टी अध्यक्ष के तौर पर नहीं दिखता। राउत ने संवाददाताओं से कहा कि राहुल गांधी कांग्रेस में एकमात्र ऐसे नेता हैं जिनकी पार्टी में सर्वमान्य स्वीकार्यता है। उन्होंने कहा कि कांग्रेस को स्वयं को मजबूत करना चाहिए क्योंकि देश को एक ताकतवर विपक्ष की जरूरत है।
शिवसेना के मुखपत्र सामना के कार्यकारी संपादक राउत ने संवाददाताओं से कहा, ‘‘सोनिया गांधी की आयु बढ़ रही है और मुझे नहीं लगता कि प्रियंका गांधी पूर्ण कालिक राजनीति में आएंगी। पार्टी में कई ऐसे वरिष्ठ नेता हैं जिनकी वजह से राहुल गांधी काम नहीं कर पा रहे हैं।’’ उन्होंने कहा, ‘‘सामना ने मुद्दे पर अपना रुख सामने रख दिया है। एक पत्रकार और संपादक के तौर पर मुझे कांग्रेस में कोई गैर गांधी नेता पार्टी अध्यक्ष के तौर पर नहीं दिखता।’’
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