नई दिल्ली: आम आदमी पार्टी के बागी विधायक कपिल मिश्रा गुरुवार को अपनी मांग को लेकर दिल्ली विधानसभा अध्यक्ष के आसन के नजदीक पहुंच गए और सदन की कार्यसूची की एक प्रति को फाड़ दिया, जिसके बाद उन्हें मार्शल के जरिए विधानसभा से बाहर कर दिया गया। वह ‘रामनवमी के जुलूस के नाम पर सांप्रदायिक अशान्ति पैदा करने की कथित कोशिश’ पर विधानसभा में होने वाली चर्चा को कार्यसूची से बाहर करने की मांग कर रहे थे। इसके बाद नेता प्रतिपक्ष विजेंद्र गुप्ता सहित सभी 4 भाजपा विधायकों ओपी शर्मा, एम. एस. सिरसा और जगदीश प्रधान ने सदन से बहिर्गमन किया।
करावल नगर से विधायक मिश्रा ने दिल्ली में सांप्रदायिक तनाव की किसी भी तरह की घटना नहीं होने के बावजूद इस मुद्दे पर चर्चा की प्रासंगिकता पर सवाल उठाया। सत्तारूढ़ AAP विधायकों ने हालांकि इस पर चर्चा कराए जाने पर जोर दिया। इसके बाद मिश्रा ने निर्धारित चर्चा को सदन की कार्यसूची से बाहर करने की लगातार मांग की। वह विधानसभा अध्यक्ष रामनिवास गोयल के आसन के पास पहुंच गए और सदन की कार्यसूची की एक प्रति फाड़ दी। इसके बाद गोयल ने उन्हें मार्शल के सहारे सदन से बाहर करने का निर्देश दिया।
विधानसभा अध्यक्ष ने कहा कि उनके विधानसभा क्षेत्र शाहदरा में इस तरह की घटना हुई लेकिन दिल्ली पुलिस ने इस संबंध में अब तक प्राथमिकी दर्ज नहीं की है। गौरतलब है कि आम आदमी पार्टी की सरकार में मंत्री रह चुके कपिल मिश्रा अक्सर ही केजरीवाल सरकार के फैसलों पर सवाल उठाते रहे हैं और उसकी कड़ी आलोचना करते रहे हैं।
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