कांग्रेस नेता वीरप्पा मोइली का दावा, राजनीति में सफल नहीं हो पाएंगे रजनीकांत
वीरप्पा मोइली ने दावा किया है कि तमिल फिल्मों के सुपरस्टार रजनीकांत दक्षिणी राज्य की राजनीति में सफल नहीं हो पाएंगे और वहां द्रविड़ संस्कृति के लोकाचार हमेशा आगे रहे हैं।
बेंगलुरू: कांग्रेस के वरिष्ठ नेता एम वीरप्पा मोइली ने दावा किया है कि तमिल फिल्मों के सुपरस्टार रजनीकांत दक्षिणी राज्य की राजनीति में सफल नहीं हो पाएंगे और वहां द्रविड़ संस्कृति के लोकाचार हमेशा आगे रहे हैं। पूर्व केंद्रीय मंत्री ने कहा कि कांग्रेस का तमिलनाडु में "स्वतंत्र अस्तित्व" नहीं हो सका और उसने हमेशा अन्नाद्रमुक या द्रमुक के साथ गठबंधन किया। मोइली ने कहा, "मुझे नहीं लगता कि रजनीकांत राजनीति में सफल हो पाएंगे क्योंकि द्रविड़ संस्कृति का लोकाचार तमिलनाडु की राजनीति में हमेशा आगे रहा है।"
मोइली ने कहा, "तमिलनाडु में कोई भी राजनीतिक पार्टी किसी तमिल पार्टी, क्षेत्रीय पार्टी से जुड़े बिना नहीं टिक सकती।’’ मोइली ने कहा कि रजनीकांत ने पहले ही ऐसी धारणा दी है कि वह कमोबेश भाजपा के आदर्शों के साथ जुड़े हैं। उन्होंने कहा, ‘‘जब तक रजनीकांत फिर से द्रविड़ संस्कृति के लोकाचार से बाहर नहीं आते, मुझे नहीं लगता कि उनका कोई (राजनीतिक) भविष्य होगा।"
बता दें कि कि रजनीकांत ने बृहस्पतिवार को घोषणा की कि वह तमिलनाडु में विधानसभा चुनाव लड़ने के लिए जनवरी 2021 में एक राजनीतिक पार्टी की शुरूआत करेंगे। उन्होंने कहा कि उनकी पार्टी आध्यात्मिक राजनीति करेगी और वह लोगों के कल्याण के लिए राजनीति में उतर कर अपनी जिंदगी को खतरे में डालने के लिए भी तैयार हैं। रजनीकांत ने स्पष्ट किया कि उनकी पार्टी 2021 विधानसभा चुनाव लड़ेगी और जीत दर्ज करेगी।
तमिलनाडु में अगले वर्ष अप्रैल-मई के बीच विधानसभा चुनाव होने हैं। उन्होंने विश्वास व्यक्त किया कि उनका दल जनता के भारी सहयोग से चुनाव जीतेगा। रजनीकांत ने अपने ट्विटर हैंडल पर लिखा, ‘‘आने वाले विधानसभा चुनाव में ,यकीनन आध्यात्मिक राजनीति का उद्भव होगा। एक चमत्कार होगा।’’ उन्होंने कहा कि इस संबंध में घोषणा 31दिसंबर को की जाएगी।
अभिनेता ने बाद में पोएस गार्डन के अपने आवास पर संवाददाताओं से बातचीत में कहा कि उन्होंने 31 दिसंबर 2017 में घोषणा की थी कि वह 2021 विधानसभा चुनाव से पहले राजनीतिक पार्टी का गठन करेंगे और राज्य के सभी 234 विधानसभा सीट से प्रत्याशी उतारेंगे। रजनीकांत ने कहा कि उन्होंने 2016 में गुर्दा प्रतिरोपण कराया था और चिकित्सकों ने उन्हें महामारी को देखते हुए राजनीति में नहीं आने की सलाह दी क्योंकि इसके लिए प्रचार करना होगा, उन्होंने कहा कि इस बात ने उन्हें राजनीति में आने के प्रश्न पर फिर से सोचने को मजबूर किया।
उन्होंने कहा कि वर्षों पहले जब वे अस्वस्थ थे और सिंगापुर में उनका इलाज चल रहा था, तो तमिलनाडु की जनता की प्रार्थनाएं ही उन्हें वापस ले कर आई थीं। उन्होंने कहा कि लोगों के प्यार को देखते हुए अगर राजनीति में उनके आगाज से उनकी जिंदगी खतरे में पड़ती है अथवा थमती है, तो भी उन्हें खुशी होगी क्योंकि उनके राजनीतिक यात्रा का मकसद लोगों का कल्याण करना है। उन्होंने कहा कि कांग्रेस के पूर्व नेता टी मनियन प्रस्तावित पार्टी में और उसकी शुरुआत के लिए निरीक्षक की भूमिका निभाएंगे।