बेंगलुरू: राजस्थान के पूर्व उपमुख्यमंत्री और कांग्रेस नेता सचिन पायलट ने बुधवार को कहा कि पार्टी नेतृत्व यह फैसला करेगा कि भविष्य में कौन, क्या भूमिका निभाएगा। राजस्थान में मंत्रिमंडल विस्तार और पायलट व उनके वफादारों को मंत्री बनाए जाने की अटकलों के बीच उन्होंने यह बात कही। उन्होंने कहा कि वह अपने द्वारा उठाए गए पार्टी के मुद्दों पर कांग्रेस आलाकमान के संपर्क में हैं और उम्मीद है कि शीर्ष नेतृत्व द्वारा आवश्यक कदम उठाए जाएंगे।
सचिन पायलट और 18 अन्य विधायकों ने पिछले साल मुख्यमंत्री अशोक गहलोत के नेतृत्व के खिलाफ बगावत कर दी थी। बाद में कांग्रेस आलाकमान ने पायलट द्वारा उठाए गए मुद्दों के समाधान के लिए एक समिति का गठन किया था। बेंगलुरु में संवाददाताओं के एक सवाल के जवाब में सचिन पायलट ने कहा, '' समिति के गठन को एक साल हो गया है। मुझे लगता है कि पार्टी और सरकार को यह सुनिश्चित करने के लिए एक साथ काम करने की जरूरत है कि हम घोषणा पत्र में किए गए अपने सभी वादों को पूरा करके दिखाएं और 2023 में जब दोबारा चुनाव आएं तो हम भारी बहुमत से वापसी कर सकें।''
उन्होंने कहा, '' कौन, क्या बनेगा और किसको क्या पद मिलेगा, कौन मंत्री है, कौन पार्टी अध्यक्ष है या मुख्यमंत्री, इस बारे में फैसला दिल्ली में पार्टी नेतृत्व द्वारा लिया जाता है।'' राजस्थान में मंत्रिमंडल विस्तार से जुड़े सवाल पर पायलट ने कहा कि जहां तक उन्हें जानकारी है, अखिल भारतीय कांग्रेस कमेटी और मुख्यमंत्री इस पर चर्चा कर रहे हैं। उन्होंने कहा, ''इस बारे में जब भी कोई जानकारी होगी, सबके सामने आएगी।''
इस बीच 7 सितंबर को पायलट के जन्मदिन पर समर्थक शक्ति प्रदर्शन की तैयारी में जुट गए हैं। पायलट के जन्मदिन से एक दिन पहले 6 सितंबर को समर्थक प्रदेश में पौधे लगाने का रिकॉर्ड बनाने की तैयारी में हैं। हर विधानसभा क्षेत्र में 5,000 पौधे लगाने का टारगेट है। पूरे प्रदेश में 10 लाख पौधे लगाए जाएंगे। पायलट का यह जन्मदिन ऐसे वक्त पर आ रहा है, जब उनके समर्थक लगातार सुलह के वक्त तय हुए मुद्दों का समाधान करने की मांग उठा रहे हैं। ऐसे समय में पायलट समर्थक प्रदेश भर में शक्ति दिखाकर नया सियासी नरेटिव बनाना चाहते हैं।
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