Subhash Chandra Bose Jayanti: 'दीदी' ने निकाली पदयात्रा, पीएम मनाएंगे 'पराक्रम दिवस'
पदयात्रा शुरू करने से पहले ममता बनर्जी ने कहा कि आजादी से पहले ही नेताजी ने योजना आयोग और भारतीय राष्ट्रीय सेना की कल्पना नेताजी की दूरदर्शिता थी। वो (भाजपा) उन्हें अपना नायक मानने की बात करते हैं लेकिन योजना आयोग समाप्त कर देते हैं। हम उनकी 125 वीं जयंती को भव्य रूप में मना रहे हैं।
कोलकाता. नेताजी सुभाष चंद्र बोस की 125वीं जयंती पर आज पश्चिम बंगाल की मुख्यमंत्री ममता बनर्जी आज कोलकाता में पैदल मार्च निकाला। ममता बनर्जी की ये पदयात्रा कोलकाता के श्याम बाजार इलाके से शुरू हुई है, करीब आठ किलोमीटर की ये पदयात्रा रेड रोड इलाके में जाकर समाप्त हुई। ममता बनर्जी ने कहा कि हम उनकी 125 वीं जयंती को भव्य रूप में मना रहे हैं। मुख्यमंत्री ने कहा कि राजारहाट में आजाद हिंद फौज के नाम से एक स्मारक का निर्माण किया जाएगा। नेताजी के नाम से एक विश्वविद्यालय की भी स्थापना की जाएगी, जो पूरी तरह से राज्य द्वारा वित्तपोषित होगा और विदेशी विश्वविद्यालयों संग इसका करार भी होगा।
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पदयात्रा शुरू करने से पहले ममता बनर्जी ने कहा कि आजादी से पहले ही नेताजी ने योजना आयोग और भारतीय राष्ट्रीय सेना की कल्पना नेताजी की दूरदर्शिता थी। वो (भाजपा) उन्हें अपना नायक मानने की बात करते हैं लेकिन योजना आयोग समाप्त कर देते हैं।
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इससे पहले आज पीएम नरेंद्र मोदी ने नेताजी को नमन किया। उन्होंने ट्वीट कर कहा कि महान स्वतंत्रता सेनानी और भारत माता के सच्चे सपूत नेताजी सुभाष चंद्र बोस को उनकी जन्म-जयंती पर शत-शत नमन। कृतज्ञ राष्ट्र देश की आजादी के लिए उनके त्याग और समर्पण को सदा याद रखेगा। प्रधानमंत्री आज नेताजी सुभाष चंद्र बोस की 125वीं जयंती के मौके पर कोलकाता में आयोजित "पराक्रम दिवस" समारोह को संबोधित करेंगे। प्रधानमंत्री कोलकाता के विक्टोरिया मेमोरियल में पराक्रम दिवस समारोह के उद्घाटन कार्यक्रम की अध्यक्षता करेंगे।
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सरकार ने पिछले दिनों नेताजी सुभाष चंद्र बोस की जयंती को ''पराक्रम दिवस'' के तौर पर मनाने का निर्णय किया। बोस की 125वीं जयंती 23 जनवरी को मनाई जाएगी। इस अवसर पर प्रधानमंत्री नेताजी के जीवन पर आधारित एक स्थायी प्रदर्शनी और एक ‘‘प्रोजेक्शन मैपिंग शो’’ का भी उद्घाटन करेंगे। प्रधानमंत्री नेताजी की याद में एक स्मारक सिक्का और डाक टिकट भी जारी करेंगे। इस दौरान नेताजी पर आधारित एक सांस्कृतिक कार्यक्रम ‘‘आमरा नूतोन जौवोनेरी दूत’’ का भी आयोजन किया जाएगा।
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इससे पहले प्रधानमंत्री कोलकाता स्थित नेशनल लाइब्रेरी का भी दौरा करेंगे। वहां ‘‘21वीं सदी में नेताजी की विरासत का पुन:अवलोकन’’ विषय पर एक अंतरराष्ट्रीय सम्मेलन आयोजित किया गया है। वहां कलाकारों की ओर से एक प्रदर्शनी भी लगाई गई है। प्रधानमंत्री कलाकारों और सम्मेलन में भाग लेने वाले प्रतिभागियों से संवाद करेंगे। गौरतलब है कि नेताजी सुभाष चंद्र बोस की 125वीं जयंती मनाने के लिए सरकार ने प्रधानमंत्री की अध्यक्षता में 85 सदस्यीय एक उच्च स्तरीय समिति का गठन किया है जो साल भर के कार्यक्रमों की रूपरेखा तैयार करेगी।
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