नई दिल्ली: कांग्रेस नेता राहुल गांधी ने आज मजदूरों से बातचीत का वीडियो जारी किया। इस वीडियो पर बीएसपी सुप्रीमो मायावती भड़क गई हैं। ट्विटर पर मायावती ने लिखा है कि मजदूरों से बातचीत का राहुल का वीडियो हमदर्दी कम नाटक ज्यादा लग रहा है। मजदूरों की दुर्दशा की असली कसूरवार कांग्रेस है। बता दें कि शहरों से मजदूर जब घर वापसी कर रहे थे तब राहुल गांधी ने मजदूरों से कैमरे के सामने बात की और आज इस पूरी बातचीत का वीडियो सोशल मीडिया पर जारी किया है।
मायावती ने ट्वीट किया, "आज पूरे देश में कोरोना लॉकडाउन के कारण करोड़ों प्रवासी श्रमिकों की जो दुर्दशा दिख रही है उसकी असली कसूरवार कांग्रेस है क्योंकि आजादी के बाद इनके लंबे शासनकाल के दौरान अगर रोजी-रोटी की सही व्यवस्था गांव/शहरों में की होती तो इन्हें दूसरे राज्यों में क्यों पलायन करना पड़ता?"
मायावती ने दूसरे ट्वीट में लिखा, "कांग्रेसी नेता द्वारा लॉकडाउन त्रासदी के शिकार कुछ श्रमिकों के दुःख-दर्द बांटने का जो वीडियो दिखाया जा रहा है वो हमदर्दी वाला कम और नाटक ज्यादा लगता है। कांग्रेस अगर यह बताती कि उसने उनसे मिलते समय कितने लोगों की वास्तविक मदद की है तो यह बेहतर होता।"
इस वीडियो में राहुल गांधी ने कोरोना वायरस महामारी में मुश्किल का सामना कर रहे करोड़ों परिवारों के लिए न्याय की मांग करते हुए प्रत्येक को 7500 रुपये देने की पैरवी की है। कांग्रेस और राहुल गांधी के विभिन्न सोशल मीडिया मंच पर इस वीडियो को जारी किया गया।
राहुल गांधी की आवाज में इस वीडियो में मजदूरों की मुश्किलों को बयां किया गया है। उन्होंने करीब 17 मिनट की इस वीडियो में लॉकडाउन के दौरान प्रवासी मजदूरों के दर्द को दिखाया है। गौरतलब है कि लॉकडाउन के कारण ट्रेन और बसों के बंद होने के बाद प्रवासी मजदूर पैदल ही अपने-अपने घरों को निकल पड़े थे। विभिन्न जगहों पर हुए हादसों में कई मजदूरों की मौत भी हो गई।
इस वीडियो में कांग्रेस के पूर्व अध्यक्ष ने कहा कि गरीबों और मजदूरों को न्याय दिया जाए और देश के आर्थिक रूप से कमजोर 13 करोड़ परिवारों में से प्रत्येक को 7500 रुपये की मदद दी जाए। राहुल गांधी ने गत 16 मई को दिल्ली के सुखदेव विहार फ्लाईओवर के पास इन प्रवासी मजदूरों से मुलाकात की थी।
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