चेन्नई: पूर्व केंद्रीय मंत्री एम.के. अलागिरी ने सोमवार को दावा किया कि उनके पिता और द्रविड़ मुनेत्र कड़गम (द्रमुक) के दिवंगत अध्यक्ष एम. करुणानिधि के 'सच्चे वफादार' उनके साथ हैं। अलागिरी ने यहां मरीना बीच पर अपने पिता के स्मारक पर श्रद्धांजलि अर्पित की और पत्रकारों से कहा कि उन्होंने पिता को पार्टी के बारे में अपनी व्यथा से अवगत कराया था।
अलागिरी को पार्टी नेताओं की आलोचना करने के लिए 2014 में पार्टी से बाहर निकाल दिया गया था। उन्होंने कहा कि उनकी पीड़ा पार्टी को लेकर थी, न कि परिवार को लेकर थी। लोग सही समय आने पर पूरी कहानी को जानेंगे।
अलागिरी ने मंगलवार को होने वाली द्रमुक कार्यकारिणी समिति बैठक के बारे में टिप्पणी करने से इनकार कर दिया और कहा कि वह अब पार्टी में नहीं हैं।
अलागिरी द्रमुक के शीर्ष पद पर काबिज होना चाहते थे, लेकिन उनके पिता करुणानिधि ने अलागिरी के स्थान पर अपने दूसरे बेटे एम.के. स्टालिन को तरजीह दी।
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