नई दिल्ली: कांग्रेस नेता राहुल गांधी ने मंगलवार को कहा कि उनकी दादी और पूर्व प्रधानमंत्री इंदिरा गांधी द्वारा लगाया गया आपातकाल एक ‘गलती’ थी। उन्होंने कहा कि उस दौरान जो भी हुआ वह ‘गलत’ था लेकिन वर्तमान परिप्रेक्ष्य से बिलकुल अलग था क्योंकि कांग्रेस ने कभी भी देश के संस्थागत ढांचे पर कब्जा करने का प्रयास नहीं किया। कांग्रेस के पूर्व अध्यक्ष ने कहा कि मुझे लगता है कि आपातकाल एक गलती थी और मेरी दादी (इंदिरा गांधी) ने भी ऐसा कहा था।
‘कांग्रेस ने देश को उसका संविधान दिया’
अमेरिका के कॉर्नेल विश्वविद्यालय में प्रोफेसर और भारत के पूर्व मुख्य आर्थिक सलाहकार कौशिक बसु के साथ हुई बातचीत में गांधी ने कहा कि वह कांग्रेस में आंतरिक लोकतंत्र के पक्षधर हैं। केरल के वायनाड से सांसद राहुल ने कहा कि कांग्रेस ने भारत की स्वतंत्रता के लिए लड़ाई लड़ी, देश को उसका संविधान दिया और समानता के लिए खड़ी हुई। आपातकाल पर पूछे गए सवाल के जवाब में उन्होंने कहा, ‘मुझे लगता है कि वह एक गलती थी। बिलकुल, वह एक गलती थी। और मेरी दादी (इंदिरा गांधी) ने भी ऐसा कहा था।’
‘आपातकाल में जो हुआ वह गलत था’
आपातकाल के अंत में इंदिरा गांधी ने चुनाव की घोषणा की थी इस बाबत प्रणब मुखर्जी ने बसु से कहा था कि उन्होंने ऐसा इसलिए किया क्योंकि उन्हें हारने का डर था। इस संबंध में पूछे गए सवाल पर राहुल गांधी ने कहा कि आपातकाल में जो भी हुआ वह ‘गलत’ था और उसमें तथा आज की परिस्थिति में मूलभूत अंतर है। बता दें कि इंदिरा गांधी द्वारा 1975 से 1977 तक 21 महीने की अवधि के लिए आपातकाल लागू किया गया था। इस दौरान देश के नागरिकों के मौलिक अधिकारों पर अंकुश लगाया गया था।
राहुल को याद आई कमलनाथ के साथ हुई बातचीत
बातचीत के दौरान राहुल गांधी ने मध्य प्रदेश के पूर्व मुख्यमंत्री कमलनाथ के साथ उनकी सरकार गिरने से पहले हुई एक बातचीत को याद किया। कमलनाथ ने उनसे कहा था कि उनकी सरकार में वरिष्ठ नौकरशाह उनकी बात नहीं मानते थे क्योंकि वे आरएसएस के लोग थे और उनसे जो भी करने के लिए कहा जाता था वे नहीं करते थे।
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