मुंबई: प्रवर्तन निदेशालय (ED) का रायपुर ज़ोनल कार्यालय जो कि महादेव बुक ऐप्लिकेशन नाम के ऑनलाइन बेटिंग मामले की जांच कर रही है, उसने कल कोर्ट में बताया कि इस मामले के आरोपियों ने इस तरह के ऐप्लिकेशन का इस्तेमाल कर क़रीबन 6000 करोड़ रुपये की मनी लॉन्ड्रिंग की है। शुक्रवार को ED ने रायपुर कोर्ट में 197 पन्नों की प्रॉसिक्यूशन कंपलेन्ट फ़ाइल की है जिसमे ED ने जांच से जुड़ी जानकारी और इस अपराध में कितने पैसों का घोटाला हुआ उस संदर्भ में विस्तृत जानकारी दी है।
अब तक 41 करोड़ रुपए जब्त, 14 को बनाया आरोपी
सूत्रों ने बताया कि करीबन 8887 पन्नों की पूरी जांच रिपोर्ट के शारांश में ED ने कोर्ट को बताया कि इस मामले में उन्होंने अब तक 41 करोड़ रुपए यानी कि प्रोसिड्स ऑफ़ क्राइम जप्त किए हैं। ED ने कोर्ट को बताया कि इस मामले में उन्होंने अब तक 14 लोगों को आरोपी बनाया है, जिसमें सौरभ चंद्राकर, रवि उप्पल, विकास छपरिया, चंद्रभूषण वर्मा, सतीश चंद्रकर, अनिल दम्मानी, सुनील दम्मानी, विशाल आहुजा, धीरज आहुजा, स्रिजन एसोसिएट्स द्वारा पूनाराम वर्मा, शिव कुमार वर्मा, पूनाराम वर्मा, यशोदा वर्मा, पवन नाथानी शामिल हैं।
रायपुर सेंट्रल जेल में बंद हैं आरोपी
ईडी ने बताया कि इस मामले में गिरफ़्तार आरोपी रायपुर सेंट्रल जेल में पिछले करीब दो महीने से बंद हैं, जिसमें निलंबित एएसआई चंद्रभूषण वर्मा, सतीश चंद्राकर, सुनील दम्मानी, अनिल दम्मानी है। इस मामले की अगली सुनवाई 25 नवंबर को होनी है। बता दें कि इसी हफ्ते महादेव बेटिंग ऐप’ मामले में मुख्य आरोपी मृगांक मिश्रा को दुबई से मुंबई के छत्रपति शिवाजी महाराज अंतरराष्ट्रीय हवाई अड्डे पर पहुंचने के बाद पकड़ लिया गया था। एक अधिकारी ने बताया था कि मिश्रा पर घोटाले से अर्जित धन भेजने के लिए सैकड़ों संदिग्ध बैंक खाते खोलने में महादेव बेटिंग ऐप के प्रवर्तकों की मदद करने का आरोप है।
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