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Hindi News भारत राष्ट्रीय कोलकाता रेप-मर्डर केस: आरोपी का साइक्लोजिकल टेस्ट, संदीप घोष से पूछताछ जारी, जानें अब तक क्या-क्या हुआ

कोलकाता रेप-मर्डर केस: आरोपी का साइक्लोजिकल टेस्ट, संदीप घोष से पूछताछ जारी, जानें अब तक क्या-क्या हुआ

महिला डॉक्टर के माता-पिता का कहना है कि ऐसी व्यवस्था बनाई जानी चाहिए, जिससे भविष्य में किसी को भी अपना बच्चा इस तरीके से न खोना पड़े।

Women March against Rape and Murder- India TV Hindi Image Source : PTI रेप और मर्डर के खिलाफ प्रदर्शन

कोलकाता के आरजी कर अस्पताल में महिला डॉक्टर के साथ दुष्कर्म और हत्या के मामले में सीबीआई की जांच जारी है। वहीं, डॉक्टर अपनी सुरक्षा को लेकर मांग कर रहे हैं। वह इसके लिए नया कानून चाहते हैं और पीएम मोदी को पद्म पुरस्कार पाने वाले 70 डॉक्टरों ने पत्र लिखा है। इस बीच सीबीआई ने आरजी कर अस्पताल के पूर्व प्रिंसिपल संदीप घोष से पूछताछ की और आरोपी का साइक्लोजिकल टेस्ट भी किया। संजय राय का आज फिर साइकोलॉजिकल टेस्ट होगा। इस टेस्ट का पहला चरण हो चुका है। सीबीआई कोलकाता पुलिस के कुछ अधिकारियों सहित 20 से अधिक लोगों से पूछताछ कर चुकी है। सीबीआई ने घटनास्थल की 3D मैपिंग की है और आरजी कर कॉलेज के पूर्व प्रिंसिपल से तीसरे दिन भी पूछताछ की। संदीप घोष से सीबीआई ने 10 घंटे तक पूछताछ की। अब तक संदीप घोष से 36 घंटे की पूछताछ हो चुकी है। उनकी कॉल डिटेल और चैट की भी जांच की गई है। 

सीबीआई के एक अधिकारी ने बताया कि रविवार को लगातार तीसरे दिन सीबीआई अधिकारियों के समक्ष पेश हुए घोष को अस्पताल में घटना से पहले और उसके बाद किए फोन कॉल की जानकारियां देने को कहा गया है। उन्होंने बताया कि अधिकारी घोष की ‘कॉल डिटेल’ और डेटा उपयोग की जानकारियां प्राप्त करने के लिए मोबाइल फोन सेवा प्रदाता से संपर्क करने पर विचार कर रहे हैं। सीबीआई ने शनिवार देर रात तक करीब 13 घंटे तक घोष से पूछताछ की थी। घोष रविवार सुबह 11 बजे सॉल्ट लेक स्थित सीजीओ कॉम्प्लेक्स में सीबीआई कार्यालय फिर से पहुंचे। 

सीबीआई ने संदीप घोष से पूछे ये सवाल 

सीबीआई अधिकारी ने कहा, ‘‘हमारे पास उनसे पूछने के लिए सवालों की एक फेहरिस्त है।’’ उन्होंने बताया कि घोष को चिकित्सक की मौत की खबर मिलने के बाद उनकी भूमिका स्पष्ट करने के लिए कहा गया है कि उन्होंने किससे संपर्क किया और (पीड़िता के) माता-पिता को करीब तीन घंटे तक का इंतजार क्यों कराया। अधिकारी के अनुसार, पूर्व प्राचार्य से यह भी पूछा गया कि घटना के बाद अस्पताल की आपातकालीन इमारत के संगोष्ठी कक्ष के पास कमरों की मरम्मत का आदेश किसने दिया था। उन्होंने कहा, ‘‘हम यह पता लगाने की कोशिश कर रहे हैं कि क्या अपराध के पीछे कोई साजिश थी या पहले से इसकी योजना बनाई गई थी। प्राचार्य क्या कर रहे थे और क्या वह किसी भी तरीके से घटना में शामिल हैं।’’ 

मीडिया के सवालों पर घोष की चुप्पी

सीबीआई अधिकारी के मुताबिक, घोष के जवाबों का मिलान वारदात की रात को चेस्ट मेडिसिन विभाग में ड्यूटी पर मौजूद अन्य चिकित्सकों और प्रशिक्षुओं के बयानों से किया जाएगा। सीबीआई ने अपनी जांच के संबंध में कोलकाता पुलिस के कई अधिकारियों समेत 20 से अधिक लोगों से अभी तक पूछताछ की है। घोष ने रविवार देर रात को सॉल्ट लेक में सीजीओ कॉम्प्लेक्स स्थित सीबीआई कार्यालय से निकलते वक्त मीडिया के सवालों का जवाब देने से इनकार कर दिया। 

अफवाह फैलाने पर पुलिस की कार्रवाई तेज

कोलकाता पुलिस ने सोशल मीडिया पर गलत सूचनाओं को लेकर अपनी कार्रवाई तेज कर दी है, जिसे विपक्ष ने असहमति की आवाज को दबाने की कोशिश बताते हुए इसकी आलोचना की है। कोलकाता पुलिस ने मामले की पीड़ित महिला चिकित्सक की पहचान उजागर करने और अफवाह फैलाने के आरोप में भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) की पूर्व सांसद लॉकेट चटर्जी, तृणमूल कांग्रेस के सांसद सुखेंदु शेखर रॉय और दो प्रसिद्ध चिकित्सकों को समन जारी किए हैं। अधिकारियों ने बताया कि इन लोगों के अलावा पुलिस ने घटना के बारे में गलत सूचना फैलाने के आरोप में 57 अन्य लोगों को भी समन जारी किया है। उन्होंने बताया कि इन लोगों पर पीड़िता की पहचान उजागर करने, अफवाह फैलाने और फर्जी खबरें फैलाने का आरोप है। 

आरजी कर अस्पताल के पास निषेधाज्ञा लागू

हुगली निर्वाचन क्षेत्र से पूर्व भाजपा सांसद चटर्जी ने कहा कि उन्हें अभी तक कोई समन नहीं मिला है। उन्होंने कहा, ‘‘अगर वे मामले की जांच करते समय भी यही तत्परता दिखाते तो बेहतर होता। हर कोई लड़की के लिए न्याय चाहता है।’’ कोलकाता पुलिस आयुक्त विनीत गोयल ने शुक्रवार को एक संवाददाता सम्मेलन में कहा था कि बहुत सारी अफवाहें फैल रही हैं, जिससे उनकी जांच प्रभावित हुई है और कानून-व्यवस्था को खतरा पैदा हुआ है। नौ अगस्त को हुई इस वारदात के सिलसिले में अगले दिन एक नागरिक स्वयंसेवक को गिरफ्तार किया गया था। घटना के विरोध में जारी विरोध-प्रदर्शन के मद्देनजर पुलिस ने आरजी कर मेडिकल कॉलेज एवं अस्पताल के निकट निषेधाज्ञा लागू कर दी है, जिसके तहत 24 अगस्त तक पांच से अधिक लोगों के एकत्र होने पर प्रतिबंध लगा दिया गया है। 

डॉक्टरों की हड़ताल जारी

पश्चिम बंगाल के सरकारी अस्पतालों के जूनियर डॉक्टर की हड़ताल रविवार को भी जारी रही, जिससे राज्य में लगातार 10वें दिन स्वास्थ्य सेवाएं प्रभावित हुईं। सरकारी अस्पतालों में रविवार को बाह्य रोगी विभाग (ओपीडी) बंद रहने के कारण मरीजों की भीड़ कम रही, लेकिन वरिष्ठ चिकित्सकों ने आपातकालीन विभाग में सेवाएं जारी रखीं। एक प्रदर्शनकारी चिकित्सक ने कहा, ‘‘हम स्वास्थ्य सेवाओं को प्रभावित करने के पक्ष में नहीं हैं। हम मरीजों की परेशानियों को समझ सकते हैं, लेकिन ड्यूटी पर मौजूद चिकित्सक के साथ बलात्कार और हत्या की घटना के संदर्भ में हमारा विरोध बहुत प्रासंगिक है।’’ चिकित्सक ने कहा, ‘‘क्या हम काम पर आते समय यही अपेक्षा करते हैं? जब तक हमारी बहन को न्याय नहीं मिल जाता और सरकार हमारी सुरक्षा के पुख्ता इंतजाम नहीं कर देती, हम अपना विरोध जारी रखेंगे।’’ 

दिल्ली में सड़क पर मुफ्त इलाज करेंगे डॉक्टर

एम्स और दिल्ली के अन्य अस्पतालों के डॉक्टर 19 अगस्त से निर्माण भवन में स्वास्थ्य मंत्रालय के सामने सड़क पर मुफ्त ओपीडी सेवाएं प्रदान करेंगे, जब तक कि उन्हें केंद्रीय सुरक्षा अधिनियम के माध्यम से अस्पतालों में पर्याप्त सुरक्षा का आश्वासन नहीं मिल जाता। यह उनका सांकेतिक प्रदर्शन होगा। सोमवार सुबह 11 बजे से डॉक्टर स्वास्थ्य मंत्रालय के सामने जुटेंगे। 70 पद्म पुरस्कार विजेता डॉक्टरों ने प्रधानमंत्री मोदी को पत्र लिखा है कि वे इस मामले में व्यक्तिगत रुचि लें और सुनिश्चित करें कि दोषियों को सख्त से सख्त सजा मिले। साथ ही डॉक्टरों और स्वास्थ्य संस्थानों की सुरक्षा के लिए एक नया कानून लाएं ताकि कोई भी स्वास्थ्य पेशेवरों और स्वास्थ्य कर्मियों के साथ दुर्व्यवहार करने की हिम्मत न कर सके।

संजय रॉय का साइक्लोजिकल टेस्ट

मुख्य आरोपी संजय रॉय का साइक्लोजिकल टेस्ट का फर्स्ट सेशन पूरा हो गया है, सीबीआई सूत्रों के मुताबिक आरोपी की मनोस्थिति समझने के लिए सोमवार को फिर से आरोपी का साइक्लोजिकल टेस्ट जारी रह सकता है। फिर से दिल्ली से सीबीआई की सीएफएसएल टीम आरोपी का साइक्लोजिकल टेस्ट करेगी।

सुप्रीम कोर्ट ने लिया स्वत: संज्ञान

सुप्रीम कोर्ट ने कोलकाता के आरजी कर अस्पताल में डॉक्टर के साथ बलात्कार और हत्या के मामले में स्वतः संज्ञान लिया है। भारत के मुख्य न्यायाधीश डीवाई चंद्रचूड़ और जस्टिस जेबी पारदीवाला और मनोज मिश्रा की पीठ 20 अगस्त को मामले की सुनवाई करेगी।

पीड़िता की मां का बयान

मृत डॉक्टर की मां का कहना है, "पहले हमें अस्पताल से फोन आया कि आपकी बेटी बीमार है, फिर फोन कट गया। उसके बाद जब मैंने फोन करके पूछा कि क्या हुआ, तो उन्होंने मुझे अस्पताल आने को कहा। जब हमने दोबारा फोन किया, तो (फोन करने वाले) ने खुद को असिस्टेंट सुपरिस्ट बताया और कहा कि आपकी बेटी ने आत्महत्या कर ली है। वह गुरुवार को ड्यूटी पर गई थी, हमें शुक्रवार को रात 10:53 बजे यह फोन आया। जब हम वहां पहुंचे, तो हमें उसे देखने नहीं दिया गया, हमें उसे तीन बजे देखने दिया गया। उसकी पैंट खुली हुई थी, उसके शरीर पर केवल एक कपड़ा था। उसका हाथ टूटा हुआ था, उसकी आंखों, मुंह से खून निकल रहा था। उसे देखकर ही लग रहा था कि किसी ने उसकी हत्या कर दी है। मैंने उनसे कहा कि यह आत्महत्या नहीं, हत्या है। हमने अपनी बेटी को डॉक्टर बनाने के लिए बहुत मेहनत की, लेकिन उसकी हत्या कर दी गई।"

मुख्यमंत्री ममता बनर्जी के आह्वान पर वे कहती हैं, "उन्होंने (ममता बनर्जी) कहा था कि अपराधी को जल्द से जल्द गिरफ्तार किया जाएगा, लेकिन अभी तक कुछ नहीं हुआ है। एक व्यक्ति को गिरफ्तार किया गया है। मुझे यकीन है कि इस घटना में और भी कई लोग शामिल हैं। मुझे लगता है कि इस घटना के लिए पूरा विभाग जिम्मेदार है। पुलिस ने बिल्कुल भी अच्छा काम नहीं किया। मुझे लगता है कि मुख्यमंत्री विरोध को रोकने की कोशिश कर रही हैं, आज उन्होंने यहां धारा 144 लगा दी है ताकि लोग विरोध न कर सकें।" सीपी के बारे में वे कहती हैं, "उन्होंने हमारे साथ बिल्कुल भी सहयोग नहीं किया, उन्होंने बस जल्द से जल्द मामले को दबाने की कोशिश की। उनकी कोशिश थी कि जल्द से जल्द पोस्टमार्टम करवाकर शव को हटाया जाए।

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