Kashmir News: कश्मीरी पंडितों पर बीते कुछ वर्षों से लगातार चर्चा हो रही है। 5 अगस्त 2019 को जब मोदी सरकार ने जम्मू कश्मीर से धारा 370 खत्म की तो लोगों को लगने लगा कि कश्मीरी पंडित अब फिर से घाटी में जा कर बसने लगेंगे। हालांकि, इसे लेकर जितनी उम्मीद जताई जा रही थी, उतना हुआ नहीं। अब बुधवार को राज्यसभा में केंद्रीय गृह राज्यमंत्री नित्यानंद राय ने एक सवाल का जवाब देते हुए कहा कि धारा 370 के हटने के बाद घाटी में अब तक 5,502 कश्मीरी पंडितों जम्मू-कश्मीर के विभिन्न विभागों में नौकरी दी गई है।
एक ने भी नहीं किया पलायन
गृह राज्यमंत्री नित्यानंद राय ने इस दौरान बताया कि प्रधानमंत्री विकास पैकेज के तहत, 5,502 कश्मीरी पंडितों को जम्मू और कश्मीर सरकार के विभिन्न विभागों में सरकारी नौकरी दी गई है। आगे उन्होंने कहा कि 5 अगस्त 2019 को जबसे केंद्र सरकार ने जम्मू कश्मीर से धारा 370 हटाई है तब से अब तक किसी भी कश्मिरी पंडित ने घाटी से पलायन नहीं किया है।
आतंकी हमलों में गिरावट
मंत्री नित्यानंद राय ने कहा कि बीते तीन वर्षों के आंकड़ों को देखा जाए तो उसके मुकाबले घाटी में आतंकी घटनाएं कम हुई हैं। हालांकि 5 अगस्त 2019 से 9 जुलाई 2022 तक जम्मू कश्मीर में 118 सुरक्षाबलों के साथ-साथ 118 नागरिकों की हत्या आतंकियों के हाथों हुई है। इन नागरिकों में 5 कश्मीरी पंडित थे और 16 नागरिक अन्य हिंदू और सिख समुदाय से थे। तीर्थयात्रियों की बात करते हुए नित्यानंद राय ने कहा कि इस टाइम पीरियड के दौरान किसी भी तीर्थयात्री की आतंकियों द्वारा हत्या नहीं हुई है।
सफल हो रही है ज़ीरो टॉलरेंस की नीति
गृह राज्यमंत्री नित्यानंद राय ने कहा कि कश्मीर में आतंकवाद के खिलाफ उनके सरकार की ज़ीरो टॉलरेंस नीति काफी सफल रही है। घाटी की सुरक्षा व्यवस्था में काफी सुधार हुआ है। हालांकि, केंद्र सरकार जितने भी दावे करे उससे यह झुटला नहीं जा सकता है कि घाटी में आतंकी अभी भी लोगों को चुन चुन कर निशाना बना रहे हैं। बीते दिनों जिस तरह से आतंकवादियों ने हिंदू समुदाय के लोगों को घाटी में निशाना बनाया था, उसने नब्बे के दशक की याद दिला दी थी। सबसे बड़ी बात ये थी कि इस बार आतंकी कश्मीरी हिंदुओं के साथ-साथ बाहर से गए वहां मजदूरी करने वाले हिंदुओं को भी निशाना बना रहे हैं।
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