नई दिल्ली: केन्द्रीय गृह मंत्री अमित शाह ने हाल में जम्मू और कश्मीर में हुए आतंकी हमले के मद्देनज़र वहां के सुरक्षा हालात को लेकर एक समीक्षा बैठक की। इस बैठक में लोकल इंटेलिंजेंस को मजबूत करने की जरूरत पर बल दिया गया। बैठक के दौरान अमित शाह ने जम्मू और कश्मीर में आतंकवाद के खात्मे के लिए सुरक्षा एजेंसियों के एरिया डॉमिनेशन प्लान की समीक्षा की। उन्होंने सुरक्षा एजेंसियों को संवेदनशील क्षेत्रों में उचित तैनाती की सलाह दी। उन्होंने प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी के नेतृत्व में केन्द्र सरकार द्वारा आतंकवाद के खिलाफ ज़ीरो टॉलरेंस की नीति जारी रखने की बात कही और ये कभी कहा कि आतंकियों से निपटने के दौरान सभी उचित प्रक्रियाओं को अपनाया जाना चाहिए।
पुंछ जिले में आतंकियों के हमले में पांच सैनिक हुए थे शहीद
एक पखवाड़ा पहले पुंछ जिले में आतंकवादियों द्वारा घात लगाकर किये गये हमले में पांच सैनिक शहीद हो गए थे। सेना 21 दिसंबर के आतंकवादी हमले के एक दिन बाद तीन नागरिकों को पूछताछ के लिए कथित तौर पर ले गई थी। 21 से 42 वर्षीय ये तीनों लोग बाद में मृत पाए गए जिससे लोगों में आक्रोश फैल गया। इन घटनाओं के मद्देनजर रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह और सेना प्रमुख जनरल मनोज पांडे ने पुंछ का दौरा किया था।
ले. गवर्नर, एनएसए, आर्मी चीफ भी बैठक में हुए शामिल
केंद्रीय गृह मंत्री द्वारा बुलाई गई इस बैठक में जम्मू-कश्मीर के उपराज्यपाल मनोज सिन्हा, राष्ट्रीय सुरक्षा सलाहकार अजीत डोभाल, सेना प्रमुख पांडे और खुफिया और अन्य सुरक्षा एजेंसियों के शीर्ष अधिकारी मंगलवार को बैठक में शामिल हुए।
गृह मंत्री को जम्मू-कश्मीर में मौजूदा हालात की दी गई जानकारी
एक अधिकारी ने कहा, ‘‘गृह मंत्री को जम्मू-कश्मीर में मौजूदा सुरक्षा स्थिति के बारे में जानकारी दी गई है।’’ इससे पूर्व, जम्मू और कश्मीर प्रशासन ने मृत नागरिकों के परिजनों के लिए मुआवजे और नौकरी का ऐलान करते हुए कहा कि इस मामले में कानूनी कार्रवाई की प्रक्रिया शुरू कर दी गई है। जम्मू-कश्मीर में वर्ष 2023 की शुरुआत से ही छिटपुट हिंसा जारी है। अधिकारियों ने हिंसा में वृद्धि को क्षेत्र में आतंकवाद को पुनर्जीवित करने के लिए 'सीमा पार के हताश प्रयासों' को जिम्मेदार ठहराया है। (इनपुट-भाषा)
Latest India News