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Hindi News भारत राष्ट्रीय इजरायल-हमास विवाद पर जमात-ए-इस्लामी हिंद की प्रतिक्रिया, कहा- भारत सरकार दे फिलिस्तीन का साथ

इजरायल-हमास विवाद पर जमात-ए-इस्लामी हिंद की प्रतिक्रिया, कहा- भारत सरकार दे फिलिस्तीन का साथ

इजरायल और फिलिस्तीन के बीच लड़ाई जारी है। हमास द्वारा किए गए हमले के बाद से ही लड़ाई जारी है। इस लड़ाई में अबतक सैकड़ों लोगों की मौत हो चुकी है। इस बीच जमात-ए-इस्लामी हिंद ने भारत सरकार से फिलिस्तीन का साथ देने की मांग की है।

Jamaat-e-Islami Hind voices concern over eruption of hostilities between Israel and Palestine- India TV Hindi Image Source : INDIA TV जमात-ए-इस्लामी हिंद के अध्यक्ष सैयद सदातुल्लान हुसैनी

इजरायल पर आतंकी संगठन हमास द्वारा शनिवार को हमला किया गया था। इस हमले में 5000 रॉकेट दागे गए और कई इजरायल के नागरिकों को मौत के घायल उतार दिया गया। इस दौरान इजरायल की सीमा में घुसपैठ कर आतंकियों ने कई पुरुष, महिलाओं और बच्चों को बंधक बना लिया। अब इजरायल ने जवाबी कार्रवाई शुरू की है। इसपर अब जमात-ए-इस्लामी हिंद ने प्रतिक्रिया दी है। जमात-ए-इस्लामी हिंद ने इसपर प्रतिक्रिया देते हुए कहा है कि वह इजरायल और फिलिस्तीन के बीच भड़की हिंसा को लेकर चिंतित है। मीडिया को दिए बयान में जमात-ए-इस्लामी हिंद के अध्यक्ष सैयद सदातुल्लान हुसैनी ने कहा कि हम इजरायल और फिलिस्तीन के बीच भड़की हिंसा से बहुत चिंतित हैं। 

जमात-ए-इस्लामी हिंदी की प्रतिक्रिया

उन्होंने कहा कि हमें यह नहीं भूलना चाहिए कि वर्तमान में जो स्थिति पैदा हुई है, उसके पीछे फिलिस्तीनियों के खिलाफ कट्टर दक्षिणपंथी नेतन्याहू सरकार द्वारा फैलाई गई इजरायली आक्रामकता है। इस हिंसा ने अबतक सैकड़ों जानें ले ली है जिसमें बच्चे भी शामिल हैं। उन्होंने कहा कि इजरायल द्वारा कब्जा किए गए बस्तियों में इजरायली नीतियों, अक्सा मस्जिद के लगातार अपमान के कारण इस क्षेत्र में शांति और स्थिरता की कमी रही है। संयुक्त राष्ट्र और अंतरराष्ट्रीय समुदाय को इस मामले में तुरंत कार्रवाई करनी चाहिए और यहूदी बस्तियों के विस्तार को तुरंत रोकना चाहिए। 

भारत दे फिलिस्तीन का साथ

जमात-ए-इस्लामी हिंद के अध्यक्ष ने कहा, 'हम अंतरराष्ट्रीय समुदाय से आह्वान करते हैं कि इजरायल को गाजा में फिलिस्तीनी नागरिकों के खिलाफ असंगत युद्ध शुरू करने से रोका जाए। जमात-ए-हिंद गांधी जी के उस कथन पर विश्वास करता है, 'फिलिस्तीन फिलिस्तीनियों का है, इंग्लैंड अंग्रेजों का या फ्रांस फ्रांसिसियों का। यह भारत की सदियों पुरानी नीति का आधार रहा है।' उन्होंने कहा कि जमात चाहता है कि भारत सरकार फिलिस्तीनियों का समर्थन करे। फिलिस्तीनियों को अपना राज्य स्थापित करने में भारत सरकार मदद करे व शांति कायम करने के लिए अपने वैश्विक प्रभाव का उपयोग करे। 

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