इंडिया टीवी के बजट संवाद में कांग्रेस नेता अजय माकन ने इस बजट को गेंम चेंजर वाले दावे पर कहा कि ये सरकार केवल देश के टॉप 1 प्रतिशत लोगों के लिए है और ये बजट भी वैसे ही है। वहीं टैक्स में छूट को लेकर माकन ने कहा कि सरकार पहले तो ये बताए कि दो टैक्स रिजीम किसलिए है और कितने पुराने टैक्स रिजीम में हैं और कितने नए रिजीम में हैं? उन्होंने कहा कि इनकम टैक्स में कमी हुई है तो वो अमीरों के में हुई है।
बजट गरीबों के लिए नहीं बल्कि अमीरों के लिए है: माकन
अजय माकन ने महंगाई को लेकर भी सरकार पर निशाना साधा। उन्होंने कहा राशन से लेकर पेट्रोल-डीजल और गैस के दाम तक देख लीजिए इससे गरीबों का कितना फायदा हुआ है। ये बजट गरीबों के लिए नहीं बल्कि अमीरों के लिए है। माकन ने कहा कि मनरेगा में कटौती क्यों की गई।
'इस साल भी जीएसटी का जंप 12 प्रतिशत है'
इस सरकार का तरीका ये है कि एक जेब से पैसा निकालते हैं और दूसरे से रख लेते हैं और कहते हैं कि हमने तो आपको दे दिया। अजय माकन ने कहा कि पिछले साल का जीएसटी कलेक्शन उससे पिछले साल के मुकाबले 23 प्रतिशत फालतू है। ये 23 प्रतिशत टैक्स अमीर के साथ-साथ गरीब पर भी बराबर लगा है तो ये कोई फायदे के लिए नहीं है। इस साल भी जीएसटी का जंप 12 प्रतिशत है। जीएसटी की ये ग्रोथ इनकम टैक्स की सारी चीजों को खत्म कर देता।
बजट मिडिल क्लास के लिए नहीं है: माकन
अजय माकन ने कहा कि इस सरकार ने इस बजट में 28.4 फीसदी की सब्सिडी में कम की है और पिछले बजट से तुलना करें तो 42 प्रतिशत की सब्सिडी में कमी की है। उन्होंने कहा कि जब सब्सिडी में कमी हो गई और जीएसटी में बढ़ोत्तरी हो रही है तो महंगाई तो बढ़ेगी ही। अगर ऐसा हो रहा है तो फिर इनकम टैक्स में राहत का क्या फायदा? माकन ने कहा कि किसी भी तरह से ये बजट मिडिल क्लास के लिए नहीं है। ये टॉप 1 प्रतिशत के लिए बना है। इसका फायदा भारत के सुपर रिच लोगों को है।
सब्सिडी खत्म कर दी
कांग्रेस नेता अजय माकन ने कहा कि मनमोहन सरकार में पेट्रोलियम सेक्टर के अंदर 1 लाख 44 हजार करोड़ की सब्सिडी दी जाती थी, अब वो कम होकर केवल 4 हजार करोड़ रह गई। उन्होंने कहा कि इस सरकार ने इनडायरेक्ट टैक्स इतने लगा दिए और सब्सिडी खत्म कर दी तो इनकम टैक्स में राहत का कोई मतलब नहीं रह जाता है।
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