नयी दिल्ली: भारत ने अगले सप्ताह इस्लामाबाद में होने वाली इस्लामिक सहयोग संगठन (ओआईसी) की बैठक में भाग लेने के लिये हुर्रियत कान्फ्रेंस को आमंत्रित किये जाने को लेकर संगठन पर निशाना साधते हुए कहा कि भारत इस तरह की गतिविधियों को बहुत गंभीरता से लेता है। विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता अरिंदम बागची ने साप्ताहिक प्रेस वार्ता में कहा, ‘‘हम ओआईसी से उम्मीद करते हैं कि वह भारत-विरोधी गतिविधियों और आतंकवाद में संलिप्त रहने वालों को प्रोत्साहित न करे।’’
ओआईसी की बैठक में हुर्रियत कान्फ्रेंस को आमंत्रित किये जाने पर विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता ने कहा कि हम इस तरह की गतिविधियों को बहुत गंभीरता से लेते हैं जो देश की एकता को नष्ट करने का प्रयास है और सम्प्रभुता एवं क्षेत्रीय अखंडता का उल्लंघन करती हैं।
बागची ने कहा, ‘‘यह बेहद दुर्भाग्यपूर्ण है कि ओआईसी विकास संबंधी महत्वपूर्ण गतिविधियों पर ध्यान केंद्रित करने के बजाय अपने एक सदस्य के राजनीतिक एजेंडे के अनुसार काम कर रहा है।’’ प्रवक्ता ने पाकिस्तान के परोक्ष संदर्भ में कहा कि यह बेहद दुर्भाग्यपूर्ण है कि ओआईसी महत्वपूर्ण विकास गतिविधियों पर ध्यान देने की बजाय एक सदस्य के राजनीतिक एजेंडे से मार्गदर्शित हो रहा है।
ऑल पार्टी हुर्रियत कांफ्रेंस के अध्यक्ष के निमंत्रण की मीडिया रिपोर्ट पर विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता अरिंदम बागची ने आगे कहा कि भारत सरकार ऐसी कार्रवाई को बहुत गंभीरता से लेती है जिनका उद्देश्य सीधे तौर पर भारत की एकता को नष्ट करना है और जो हमारी संप्रभुता और क्षेत्रीय अखंडता का उल्लंघन करती है। हम उम्मीद नहीं करते कि ओआईसी आतंकवाद और भारत विरोधी गतिविधियों में लगे देशों और संगठनों का प्रोत्साहन करेगा।
अरिंदम बागची ने कहा, ‘‘हमने बार बार ओआईसी से कहा है कि वह भारत के आंतरिक मामले में हस्तक्षेप करने के लिये अपने मंच का इस्तेमाल निहित स्वार्थी तत्वों को प्रदान करने से बचे।’’ बागची से उन खबरों के बारे में पूछा गया था जिसमें ओआईसी द्वारा आल पार्टी हुर्रियत कान्फ्रेंस को 25 एवं 23 मार्च को इस्लामाबाद में होने वाले उसकी बैठक में हिस्सा लेने के लिये आमंत्रित किया गया था ।
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