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Hindi News भारत राष्ट्रीय गंगा दशहरा पर हरिद्वार में 15 लाख से अधिक श्रद्धालुओं ने लगाई डुबकी, भारी वाहनों के प्रवेश पर लगी रोक

गंगा दशहरा पर हरिद्वार में 15 लाख से अधिक श्रद्धालुओं ने लगाई डुबकी, भारी वाहनों के प्रवेश पर लगी रोक

गंगा दशहरा के अवसर पर भारी संख्या में श्रद्धालु हरिद्वार पहुंचे। इस दौरान करीब 15 लाख से अधिक श्रद्धालुओं ने गंगा नदी में डुबकी लगाई। इस दौरान प्रशासन द्वारा व्यवस्था के पुख्ता इंतजाम किए गए थे और वाहनों की आवाजाही पर भी कंट्रोल किया गया था।

haridwar more than 15 lakh devotees took holy dip in ganga- India TV Hindi Image Source : PTI हरिद्वार में 15 लाख से अधिक श्रद्धालुओं ने लगाई डुबकी

गंगा दशहरा के पावन स्नान पर्व के मौके पर रविवार को हरिद्वार में 15 लाख से अधिक श्रद्धालुओं ने गंगा नदी में आस्था की डुबकी लगाई। स्नान पर्व के लिए हरिद्वार के गंगा घाटों पर भारी भीड़ उमड़ी। स्नान के लिए देश भर से श्रद्धालु शनिवार देर शाम से ही हरिद्वार पहुंचना शुरू हो गये थे। रविवार तड़के से ही मुख्य स्नान घाट हर की पौड़ी पर स्नान का सिलसिला शुरू हो गया था जो देर शाम तक चलता रहा। इस अवसर पर श्रद्धालुओं ने गंगा में आस्था की डुबकी लगाई । पद्मविभूषण रामानंदाचार्य जगद्गुरु स्वामी रामभद्राचार्य ने भी कनखल के गंगा घाट पर गंगा स्नान किया। 

गंगा दशहरा पर 15 लाख से अधिक श्रद्धालुओं ने लगाई डुबकी

पुलिस ने बताया कि गंगा दशहरा के मौके पर करीब 15 लाख 25 हजार श्रद्धालुओं ने पवित्र गंगा नदी में डुबकी लगाई। पुराणों के अनुसार, गंगा दशहरा के दिन गंगा देवलोक से पृथ्वीलोक पर आई थी। कहा जाता है कि जब गंगा धरती पर अवतरित हुई तब 10 तरह के खास ग्रह योग बने थे, इसीलिए गंगा दशहरा पर्व को दस तरह के पाप हरने वाला पर्व भी माना जाता है । गंगा दशहरा पर्व पर उमड़ी भारी भीड़ की वज़ह से जगह-जगह भारी जाम की स्थिति बनी रही और लोगों को अपने गंतव्यों तक पहुंचने में कई घंटों का समय लगा। 

गंगा स्नान पर लोगों ने लगाई डुबकी

हरिद्वार के व्यवसायी यू सी जैन ने बताया कि घर से अपने संस्थान तक का करीब दो किलोमीटर का रास्ता तय करने मे उन्हें तीन घंटे लग गए। स्नान पर्व पर भारी भीड़ उमड़ने की संभावना को देखते हुए प्रशासन ने पर्याप्त सुरक्षा इंतजाम किए थे। वरिष्ठ पुलिस अधीक्षक प्रमेंद्र डोभाल ने बताया कि श्रद्धालुओं की सुविधा और सुरक्षा को देखते हुए पूरे मेला क्षेत्र को 10 जोन और 26 सेक्टर में बांटा गया था और भारी यातायात को देखते हुए मार्ग परिवर्तन योजना को भी लागू किया गया है। मेला अवधि के दौरान भीड़ को देखते हुए भारी वाहनों के प्रवेश पर शनिवार से ही रोक लगा दी गई थी। 

(इनपुट-भाषा)

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