भारत एक लोकतांत्रिक देश है, यहां लोगों को आजादी है कि वह कुछ भी बोल सकें। लेकिन कुछ भी बोलने वाले लोगों को यह भी सोचना चाहिए कि जो वह बोल रहे हैं कहीं उससे उनके अपने देश की गरिमा पर आंच तो नहीं आ रही है। हालांकि भारतीय नेता कहां ऐसा कुछ सोचते हैं। इसीलिए तो आए दिन कोई ना कोई भारतीय सेना पर उसके फर्ज पर सवाल खडे़ कर देता है। इस बार ऐसा किया है सीपीआईएम के नेता और केरल के पूर्व मंत्री केटी जलील ने। उन्होंने अपने एक फेसबुक पोस्ट में कई विवादित चीजें लिखी हैं। उन्होंने अपने पोस्ट जहां एक ओर पाकिस्तान अक्यूपाइड कश्मीर को ‘आज़ाद कश्मीर’ कहा है, तो वहीं कश्मीर को लेकर लिखा है कि वहां के लोग हंसना भूल गए हैं।
जलील ने क्या लिखा
CPI-M नेता केटी जलील ने अपने फेसबुक पोस्ट में लिखा, 'कश्मीर के चेहरे पर चमक नहीं है। हर जगह बंदूक के साथ सैनिक हैं। पुलिसकर्मियों के कंधों पर भी बंदूकें हैं। आम लोगों के चेहरों पर उदासी है। ऐसा लगता है कि कश्मीरी लोग हंसना भूल गए हैं। हरा दशकों से कश्मीर का रंग रहा है। सड़क के किनारे हर सौ मीटर पर सशस्त्र सैनिकों को देखा जा सकता है।' वहीं पीओके को लेकर जलील ने लिखा, 'कश्मीर के पाकिस्तान के कब्जे वाले हिस्से को आजाद कश्मीर के रूप में जाना जाता है और यह ऐसा क्षेत्र है जहां पाकिस्तान सरकार का सीधा नियंत्रण नहीं है।' उन्होंने लिखा, 'कश्मीरियों के लिए सेना के ट्रक और सैनिकों की उपस्थिति उनके दैनिक जीवन का हिस्सा लगता है। वहां के सभी राजनीतिक नेता नजरबंद हैं। वहां महीनों से राजनीतिक गतिविधियां ठप हैं।' यह पूरी पोस्ट मलयाली भाषा में लिखी गई है।
बीजेपी ने जताई आपत्ति
भारतीय जनता पार्टी ने केटी जलील के पोस्ट पर आपत्ति जताई है। बीजेपी नेता संदीप वारियर ने इस पर कहा है कि केटी जलील की टिप्पणी उनकी जहरीली सोच को दिखाती है। जबकि सीपीआईएम ने अब तक इस मुद्दे पर कुछ नहीं कहा है।
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