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Hindi News भारत राष्ट्रीय 'कोई कड़वा सच है, तो जरूर सामने लाया जाना चाहिए', अजमेर शरीफ विवाद पर बोले चिराग पासवान

'कोई कड़वा सच है, तो जरूर सामने लाया जाना चाहिए', अजमेर शरीफ विवाद पर बोले चिराग पासवान

लोक जनशक्ति पार्टी (राम विलास) के प्रमुख और केंद्रीय मंत्री चिराग पासवान ने RSS प्रमुख मोहन भागवत के तीन बच्चों वाले बयान और अजमेर शरीफ को लेकर शुरु हुए विवाद पर अपनी राय दी है।

अजमेर शरीफ विवाद पर आया चिराग पासवान का बयान।- India TV Hindi Image Source : PTI अजमेर शरीफ विवाद पर आया चिराग पासवान का बयान।

केंद्रीय मंत्री और लोजपा (रामविलास) पार्टी के प्रमुख चिराग पासवान ने अजमेर शरीफ को लेकर जारी विवाद और इसके साथ ही आरएसएस प्रमुख मोहन भागवत द्वारा तीन बच्चों को जन्म देने की अपील पर अपनी राय रखी। एक प्रेस कॉन्फ्रेंस को संबोधित करते हुए चिराग पासवान ने अजमेर शरीफ के मुद्दे पर कहा है कि अगर दावे झूठे हैं तो किसी को डरने की जरूरत नहीं है, अदालत इसका ध्यान रखेगी। हालांकि, अगर कोई कड़वा सच है, तो इसे भी जरूर सामने लाया जाना चाहिए। वहीं, चिराग ने जनसंख्या के मुद्दे पर भी बात की है।

3 बच्चों के विवाद पर क्या बोले चिराग?

राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ के प्रमुख मोहन भागवत ने कथित रूप से कहा था कि हर महिला को ‘कम से कम तीन बच्चों’ को जन्म देना चाहिए। उनके इस बयान पर चिराग ने कहा कि मोहन भागवत ने सिर्फ जनसंख्या में गिरावट को लेकर चिंता जाहिर की है। चिराग ने कहा- "यह तथ्य है कि बहुत कम प्रजनन दर किसी प्रजाति के विलुप्त होने का कारण बन सकती है। उन्होंने (भागवत ने) इस पर चिंता व्यक्त की है। देश के कई हिस्सों में प्रजनन दर 2.1 से नीचे गिर गई है, जिस पर बहस होनी चाहिए, ठीक उसी तरह जैसे अतीत में हुआ था, जब जनसंख्या वृद्धि की विस्फोटक दर के कारण परिवार नियोजन के उपाय करने पड़े थे।"

अजमेर शरीफ विवाद पर चिराग का बयान

चिराग पासवान ने अजमेर शरीफ को एक शिव मंदिर की जगह पर बना हुआ बताए जाने पर भी अपनी राय रखी। चिराग ने कहा- "अगर झूठे दावे किए जा रहे हैं, तो किसी को भी डरने की जरूरत नहीं है, क्योंकि अदालत इसका ध्यान रखेगी। लेकिन, अगर कोई कड़वा सच है, तो इसे भी जरूर सामने लाया जाना चाहिए।" चिराग से जब ये पूछा गया कि ताज महल को लेकर भी ऐसे ही दावे किए जा रहे हैं तो चिराग ने कहा-  ‘‘मैं ऐसे सभी दावों पर टिप्पणी नहीं कर सकता, क्योंकि मैं कोई जांच एजेंसी नहीं हूं। लेकिन हम निश्चिंत हो सकते हैं कि ऐसे सभी दावे, एक बार उचित प्राधिकारी के समक्ष किए जाने पर, गहन जांच के बाद ही स्वीकार या अस्वीकार किए जाएंगे।"

क्यों शुरू हुआ विवाद?

दरअसल, राजस्थान की एक अदालत में याचिका दायर की गई थी और आरोप लगाया गया था कि अजमेर में प्रसिद्ध सूफी दरगाह एक शिव मंदिर की जगह पर बनी है। कोर्ट ने उस याचिका को स्वीकार कर लिया है। हिंदू पक्ष का दावा है कि अजमेर शरीफ, शिव मंदिर को तोड़कर बनाई गई है। मंदिर के पास कुंड था, जो आज भी मौजूद है। हिंदू संगठन द्वारा इसे लेकर हर विलास शारदा की पुस्तक का हवाला दिया गया है। (इनपुट: भाषा)

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