सीबीआई ने एनबीसीसी के एक उप महाप्रबंधक को गिरफ्तार किया है। सीबीआई ने उप महाप्रबंधक वरुण पोपली को ठेकेदार से पांच लाख रुपये की रिश्वत लेते गिरफ्तार कर लिया गया है। अधिकारियों ने इसे लेकर गुरुवार को कहा कि लद्दाख में तैनात आरोपी डीजीएम वरुण पोपली ने ठेकेदार से कथित तौर पर 11.40 लाख रुपये की मांग की थी। उन्होंने कहा कि बातचीत के दौरान कथित तौर पर वह दिल्ली में 5 लाख रुपये की आंशिक राशि का भुगतान करने के लिए राजी हो गया। बुधवार की शाम जब वरुण पोपली रिश्वत ले रहा था, इसी दौरान सीबीआई की टीम ने उसे गिरफ्तार कर लिया।
रिश्वत मांगते एनबीसीसी के अधिकारी को सीबीआई ने किया गिरफ्तार
बता दें कि एनबीसीसी एक केंद्रीय सार्वजनिक क्षेत्र का उद्यम है। इसे पहले राष्ट्रीय भवन निर्माण निगम के नाम से जाना जाता था। शिकायतकर्ता द्वारा दी गई शिकायत के मुताबिक आरोपी पोपली ने उनसे 11.40 लाख रुपये की रिश्वत मांगी थी। शिकायतकर्ता ने शिकायत की कि लेह में हो रहे एक निर्माण परियोजना को क्रियान्वित करने के लिए डीजीएम एक अनुबंध वस्तु की अनुमति देने के लिए 7.40 लाख रुपये की मांग की। ऐसे में सीबीआई ने मामले की गंभीरता को देखते हुए उक्त आरोपी के खिलाफ केस दर्ज कर लिया। सीबीआई ने इसके बाद आरोपी को पकड़ने के लिए जाल बिछाया।
दिल्ली में आवासीय परिसर में ली गई तलाशी
ऐसे में सीबीआई की जाल में एनबीसीसी का उप महाप्रबंधक फंस गया। दरअसल वरुण पोपली को 11.40 लाख रुपये की मांगी गई राशि के मुकाबले 5 लाख रुपये का रिश्वत मांगते हुए रंगे हाथों पकड़ लिया गया। आरोपी डीजीएम को गिरफ्तार कर लिया गया है। साथ ही उसे आज दिल्ली में न्यायालय के समक्ष पेश किया जाएगा। दिल्ली में आरोपी के आवासीय परिसर की भी तलाशी ली गई है। इस मामले की आगे की जांच जारी है।
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