A
Hindi News भारत राष्ट्रीय बंगलुरु: डिजिटल फ्रॉड का शिकार हुआ इंजीनियर, करीब 12 करोड़ रुपए गंवाए, क्राइम ब्रांच-कस्टम और ED अधिकारी बनकर ठगी

बंगलुरु: डिजिटल फ्रॉड का शिकार हुआ इंजीनियर, करीब 12 करोड़ रुपए गंवाए, क्राइम ब्रांच-कस्टम और ED अधिकारी बनकर ठगी

39 साल के एक इंजीनियर ने करीब 12 करोड़ रुपए गंवा दिए हैं। डिजिटल ठगों ने उसके बैंक खाते को खाली कर दिया और इंजीनियर को इसकी भनक तक नहीं लग पाई।

Bangalore Engineer digital fraud- India TV Hindi Image Source : REPRESENTATIVE PIC/META AI डिजिटल ठगों ने उड़ाए करीब 12 करोड़ रुपए

बंगलुरु: देश में डिजिटल फ्रॉड के मामले लगातार बढ़ रहे हैं। ताजा मामला बंगलुरु से हैं, जहां डिजिटल ठगों ने एक इंजीनियर को अपना शिकार बनाया है और इंजीनियर के साथ करीब 12 करोड़ रुपए की ठगी को अंजाम दिया है। इस घटना के सामने आने के बाद साइबर दुनिया में हड़कंप मच गया है।

क्या है पूरा मामला?

बेंगलुरु नार्थ डिवीजन के तहत GKVK में रहने वाले 39 साल के एक इंजीनियर ने डिजिटल ठगों के चक्कर में पड़कर करीब 12 करोड़ रुपए गंवा दिए हैं। इस युवक को जब तक ये पता चला कि उसके साथ डिजिटल ठगी हुई है, तब तक उसकी सारी कमाई लुट चुकी थी।

इस युवक ने पुलिस की साइबर, इकोनॉमिक और नारकोटिक्स यानी CEN ब्रांच में 12 दिसम्बर को एक शिकायत दर्ज करवाई। इस शिकायत में युवक ने पुलिस को बताया कि 11 नवम्बर से 12 दिसम्बर के बीच डिजिटल ठगों ने युवक से 11 करोड़ 84 लाख रुपए ऐंठ लिए।

पुलिस में दी गई शिकायत के मुताबिक, इस युवक को 11 नवम्बर को एक IVR फोन आया, जिसमें कहा गया कि ये कॉल टेलीकॉम रेग्युलेटरी अथॉरिटी ऑफ इंडिया यानी TRAI से है। उसके फोन नम्बर का मिसयूस हुआ है और 2 घंटे में उसका फोन कट जाएगा। उसने जब कारण पूछा तो उसे  8791120937 से एक फोन आया और सामने वाले ने कहा कि वो मुम्बई के कोलाबा से क्राइम ब्रांच का अफसर है और उसके आधार नम्बर के साथ कोलाबा में एक केस दर्ज हुआ है, उसे बताया गया कि नरेश गोयल नाम के एक व्यक्ति को 6 करोड़ रुपये की मनी लॉन्ड्रिंग के केस में पकड़ा गया है, और इसमें उसके आधार कार्ड और फोन की डिटेल्स मिली हैं।

ये युवक डर गया जिसके बाद उसे एक और नम्बर 7420928275 से फोन आया और उसने खुद को कस्टम और ED का अधिकारी बताया और इस युवक को डिजिटल अरेस्ट करने की बात कहते हुए उससे मोबाइल फोन पर 2 एप और स्काईप डाउनलोड करने को कहा।

इसके बाद पुलिस अधिकारी का वेश बनाकर एक और ठग ने 9997342801 से वीडियो कॉल किया और उसे बताया कि अब ये केस सुप्रीम कोर्ट में चला गया है और न सिर्फ वो बल्कि उसके परिवार के बाकी लोगों को भी अब जिंदगी भर जेल में रहना होगा। ये युवक बुरी तरह डर गया और इसका फायदा उठाते हुए ठगों ने उसके बैंक में जमा राशि की सारी जानकारी उससे ले ली और उससे कहा कि उसे अपने अकाउंट से पैसे RBI के अकाउंट में जमा कराने होंगे और एक बार वेरिफिकेशन हो जाने के बाद ये रुपये उसके अकाउंट में वापस भेज दिए जाएंगे।

जिसके बाद 11 नवम्बर को उसने ICICI बैंक के एक अकाउंट में 75 लाख जमा कराए, उसके अगले दिन UCO बैंक के एक अकाउंट में 3 करोड़ 14 लाख जमा कराए, इसके बाद उसे मनी लॉन्ड्रिंग के इस केस से बाहर निकालने के लिए और रुपयों की डिमांड की गई, चूंकि पीड़ित बुरी तरह घबराया हुआ था इसीलिए ठगों ने इसका पूरा फायदा उठाया और सिलसिले वार तरीके से अलग अलग बैंक अकाउंट में 97 लाख, 25 लाख, 1 करोड़, 56 लाख, 96 लाख और आखिर में 2 लाख रुपए जमा करवाये गए।

इसके बाद उसे कहा गया कि 12 दिसम्बर की दोपहर तक सारे पैसे दोबारा उसके अकाउंट में आ जाएंगे, तय समय पर पैसे वापस नहीं आये तो ये युवक पैनिक हो गया, उसने उस अधिकारी से बात करने की कोशिश की तो सारे फोन फोन स्विच ऑफ हो गए, बैंक को कॉल किया, तब तक काफी देर हो चुकी थी। जिन 9 बैंक खातों में इंजीनियर ने पैसे ट्रांसफर किये थे, उन सभी खातों से पैसे निकाल लिए गए थे। इस वजह से बैंक उसे ब्लॉक नहीं कर पाया। इसके बाद उसे एहसास हुआ कि डिजिटल अरेस्ट के नाम पर उसके साथ इतनी बड़ी ठगी हुई है। बेंगलुरु साइबर क्राइम पुलिस ने अज्ञात लोगों के खिलाफ मामला दर्ज कर जांच शुरू कर दी है।

Latest India News