Agnipath Scheme Protest: सेना भर्ती के लिए केंद्र सरकार द्वारा लाइ गई नै अग्निपथ नीति का देश भर में हिंसक विरोध हो रहा है। प्रदर्शनकारियों ने कई जगह ट्रेन, बसें और सार्वजनिक संपत्ति को आग के हवाले कर दिया। लेकिन कई जगह इसके पीछे एक सोची-समझी साजिश नजर आ रही है। कई जगह इस विरोध प्रदर्शन को कई संगठन व राजनैतिक दल हवा दे रहे हैं। अभी तक सबसे ज्यादा हिंसा बिहार राज्य में हुई है। जहां के प्रदर्शनकारियों ने आज शनिवार को बिहार बंद का आह्वान भी किया है। जिसका राष्ट्रीय जनता दल ने समर्थन भी किया है।
वहीं मध्य प्रदेश के ग्वालियर में पुलिस को कुछ ऐसे सबूत मिले, जिससे यह लगता है कि वहां के कोचिंग संस्थानों ने छात्रों को विरोध प्रदर्शन के लिए उकसाया। पुलिस ने उनके खिलाफ मामला दर्ज कर लिया है। ग्वालियर के जिलाधिकारी कौशलेन्द्र विक्रम सिंह ने बताया कि, " ग्वालियर के शारीरिक प्रशिक्षण केंद्र और कोचिंग संचालकों ने सोशल मीडिया पर कई ऐसे संदेश लिखे, जिससे अभ्यर्थी भड़क गए।
हिरासत में लिए गए कोचिंग संचालक
मामले में कार्रवाई करते हुए ग्वालियर पुलिस ने पांच कोचिंग संचालकों को हिरासत में लिया है। पुलिस ने इनसे बांड भारव्ये हैं, अब इकने ऊपर FIR दर्ज करने की तैयारी है। इन सभी कोचिंग संचालकों से उनके यहां तैयारी करने वाले छात्रों की लिस्ट मांगी गई है। जिससे उन पर नजर रखी जा सके और किसी भी हिंसक प्रदर्शन से बचा जा सके। पुलिस के सूत्रों के अनुसार कोचिंफ़ संचालकों ने छात्रों से कहा कि, "तुम्हारा भविष्य चौपट हो जाएगा, अब सेना की नौकरी भूल जाओ, इतनी मेहनत सब बेकार चली जायेगी। कुछ बड़ा करो।
आपको बता दें कि पुलिस को ग्वालियर के कोचिंग संचालकों की भूमिका संदिग्ध नजर आ रही है। जिसके पीछे कारण बताया जाता है कि ग्वालियर शहर सेना, पैरामिलिट्री फ़ोर्स और पुलिस बल में भर्ती की तैयारी का बड़ा केंद्र है। यहां आस-पास के भिंड, मुरैना, दतिया समेत उत्तर प्रदेश के कई शहरों के युवक यहां तैयारी के लिए आते हैं। यहां कई ऐसे कोचिंग केंद्र हैं, जहां हजारों की संख्या में युवा तैयारी करते हैं। अब पुलिस आशंका जता रही हिया कि इनमे से कई कोचिंग संस्थानों ने छात्रों को हिंसा के लिए भड़काया।
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