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Hindi News भारत राष्ट्रीय मणिपुर वायरल वीडियो मामले में 7वां आरोपी गिरफ्तार, आरोपियों में एक नाबालिग भी शामिल

मणिपुर वायरल वीडियो मामले में 7वां आरोपी गिरफ्तार, आरोपियों में एक नाबालिग भी शामिल

इस मामले के सामने आने के बाद सीएम एन बीरेन सिंह ने कहा था कि इस घटना के सभी आरोपियों की गिरफ्तारी के लिए अभियान चलाया जा रहा है और जल्द ही सभी की गिरफ्तारी कर ली जाएगी।

Manipur- India TV Hindi Image Source : यह तस्वीर प्रतीकात्मक है मणिपुर हिंसा

इंफाल: मणिपुर में महिला को निर्वस्त्र कर घुमाने के वीडियो के मामले में पुलिस ने सातवें आरोपी को गिरफ्तार किया है। पुलिस इससे पहले 6 आरोपियों को गिरफ्तार कर चुकी है। पुलिस ने बताया है कि इन 7 आरोपियों में से एक आरोपी नाबालिग है। इससे पहले 4 आरोपियों को कोर्ट ने 11 दिनों की पुलिस हिरासत में भेज दिया था। बता दें कि बुधवार 19 जुलाई को एक वीडियो वायरल हुआ था, जिसमें कुछ लोग दो महिलाओं को निर्वस्त्र करके घुमा रहे थे। जानकारी के अनुसार, यह घटना 4 मई को हुई थी, लेकिन वीडियो अब सामने आया। 

अपराधियों की मौत की सजा मिलनी चाहिए- बीरेन सिंह

इस शर्मनाक वीडियो के सामने आने के बाद मुख्यमंत्री एन.बीरेन सिंह ने घटना को अमानवीय करार दिया और कहा कि अपराधियों को मौत की सजा मिलनी चाहिए। घटना की कड़ी निंदा करते हुए मुख्यमंत्री ने इसे मानवता के प्रति अपराध बताया और कहा कि उनकी सरकार इस जघन्य अपराध पर चुप नहीं रहेगी। मुख्यमंत्री ने कहा कि वीडियो देखते ही उन्होंने साइबर अपराध विभाग से इसका सत्यापन करने को कहा और अपराधियों को पकड़ने के लिए अधिकारियों को व्यापक स्तर पर तलाशी अभियान चलाने का निर्देश दिया। उन्होंने कहा कि मैं इस मामले में कोर्ट से आरोपियों को फांसी की सजा देने की मांग करूंगा। 

'पुलिस से बचाने की गुहार लगाई, लेकिन...'

वहीं इससे पहले इस घटना में पीड़िता के पति ने इंडिया टीवी से बातचीत करते हुए पीड़िता के पति ने बताया कि यह सब कुछ पुलिस के सामने घटित हुआ। हम पुलिस से बचाने की गुहार लगते रहे, लेकिन हमारी किसी ने मदद नहीं की। पीड़िता के पति ने कहा कि उन्होंने सेना में रहकर देश की सेवा की। कारगिल युद्ध में जान की बाजी लगाई, देश की रक्षा करते हुए परिवार के कई सदस्य शहीद हो गए।   

3 मई को हुई थी घटना- पीड़िता के पति  

पीड़िता के पति ने बताया कि चुराचंदपुर में 3 मई की रात ही हिंसा शुरू हो गई थी। मेरे गांव में ऐसा होगा किसी ने नहीं सोचा था। दंगाईयों ने हमारे घर जला दिए। इस घटना की सूचना 3 तारीख की रात ही हमने पुलिस को दी थी। पुलिस आई लेकिन उन्होंने हमारी मदद नहीं की। पुलिस मैतई लोगों के साथ जाकर खड़ी हो गई। Peace कमेटी बनाने के नाम पर लोग हमारे घर आए और दंगाईयों ने पड़ोस के गांव की चर्च जलाई।

'भीड़ ने पुलिस की गाड़ी से हमलोगों को उतार लिया'

उन्होंने बताया कि हमला करने वालों ने जानवरों को मारना शुरू कर दिया। हमलोग जान बचाकर पास के जंगल में छिप गए थे। मेरे गांव जलाने आए तो जानवर जंगल की तरफ भाग गए। जानवरों की वजह से हमलोग भी पकड़े गए। हमला करने वाले हमें अलग-अलग लेकर गए। पीड़िता के पति ने बताया कि भीड़ जब आई तो वहां पुलिस भी पहुंची थी। भीड़ ने पुलिस की गाड़ी से हमलोगों को उतार लिया। दो लड़कियों को भीड़ ने निर्वस्त्र कर दिया। एक लड़की के पिता-भाई आए तो उन्हें मार दिया। मेरी पत्नी के साथ भी भीड़ ने दरिंदगी की।

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