महिला कोटे की बची हुई सीटें अब वेटिंग लिस्ट की महिला यात्रियों को ही देगा रेलवे
महिलाओं के लिए एक खुश होने वाली खबर रेलवे की तरफ से आई है।
महिलाओं के लिए एक खुश होने वाली खबर रेलवे की तरफ से आई है। रेलवे ने तय किया है कि महिला कोटे के तहत इस्तेमाल नहीं होने वाली सीटों को पहले वेटिंग लिस्ट की महिला यात्रियों और उसके बाद वरिष्ठ नागरिकों को दिया जाएगा। वर्तमान में यह कोटा चार्ट बनने के समय तक बुकिंग के लिए खुला रहता है और उसके बाद कोटे की बची हुई सीटों को वेट-लिस्ट के यात्रियों के लिए छोड़ दिया जाता है। इस दौरान सीटों का आवंटन लैंगिक आधार पर नहीं होता। रेलवे बोर्ड ने 15 फरवरी के एक सर्कुलर में सभी व्यावसायिक प्रबंधकों को “महिला कोटा के तहत आने वाली सीटों के इस्तेमाल के तर्क में सुधार करने” के अपने फैसले की जानकारी दी। सर्कुलर के मुताबिक चार्ट बनने के समय महिला यात्रियों के लिए कोटे की अप्रयुक्त सीटों को पहले वेटिंग लिस्ट की महिला यात्रियों को दिया जाए और बाद में वरिष्ठ नागरिकों को।
साथ ही इसमें कहा गया, “अगर ऐसा कोई भी यात्री नही है और सीट खाली रहती है तो ट्रेन में मौजूद टिकट की जांच करने वाला स्टाफ सीट को किसी अन्य महिला यात्री या वरिष्ठ नागरिक को देने के लिए अधिकृत होगा।” इससे कुछ दिन पहले रेलवे और महिलाओं से जुड़ी एक और खबर सामने आई थी जिसमें बताया गया था कि जयपुर का गांधी नगर रेलवे स्टेशन देश का पहला ऐसा गैर-उपनगरीय रेलवे स्टेशन बन गया है जिसे पूरी तरह से महिलाओं द्वारा संचालित किया जा रहा है। टिकट बेचने से लेकर टिकट की चेकिंग तक सभी कार्य यहां 40 महिलाओं द्वारा संचालित किये जायेंगे। एनडब्ल्यूआर के प्रमुख जनसंपर्क अधिकारी के द्वारा बनाया गया जबकि विभागीय रेलवे प्रबंधक और अन्य रेलवे अधिकारियों ने मिलकर इस योजना का क्रियान्वयन किया है। दूसरी तरफ राजस्थान सरकार ने भी स्टेशन पर जीआरपी और लेडी पुलिस अधिकारियों की तैनाती कर इस काम में सहयोग दे रही है।