नई दिल्ली: उपराष्ट्रपति एम. वेंकैया नायडू ने शुक्रवार को देश को दिवाली की पूर्व संध्या पर बधाई दी और लोगों से कोविड-19 महामारी को देखते हुए स्वास्थ्य और स्वच्छता प्रोटोकॉल का पालन करते हुए रोशनी के इस त्योहार का जश्न मनाने का आग्रह किया। राष्ट्र के नाम अपने अभिवादन में नायडू ने कहा, "मैं दीपावली/दीवाली के शुभ अवसर पर भारत और विदेशों में अपने सभी साथी नागरिकों को प्रकाश पर्व की हार्दिक बधाई और शुभकामनाएं देता हूं।"
उन्होंने कहा कि पारंपरिक हर्षोल्लास के साथ मनाए जाने वाला दीपावली का पर्व बुराई पर अच्छाई की विजय का प्रतीक है और भगवान राम के जीवन के नेक आदशरें और सद्गुणों में हमारे विश्वास की पुन: पुष्टि करता है। उन्होंने कहा कि यह वह दिन है, जब अत्याचारी राजा रावण को हराने के बाद 14 वर्ष के वनवास से श्रीराम, माता सीता और लक्ष्मण के साथ अयोध्या वापस लौटे थे।
नायडू ने कहा, "यह भगवान राम के जीवन और कर्मों में निहित पवित्र और सैद्धांतिक विचारों का उत्सव भी है। यह त्योहार हमें याद दिलाता है कि हमें आसुरी शक्तियों का निरंतर दमन करने और समाज में भलाई और सद्भाव को बढ़ावा देने की आवश्यकता है।"
उपराष्ट्रपति ने कहा, "दीपावली का पर्व न केवल भारत में बल्कि पूरे विश्व में बड़े पैमाने पर मनाया जाता है । हम कह सकते हैं कि यह दुनिया के सबसे बड़े उत्सवों में से एक है। विदेशों में रहने वाले भारतीय दीपावली को बहुत धूमधाम और प्रेम के साथ मनाते हैं। दीपावली की रात्रि में समृद्धि की देवी लक्ष्मी की पूजा करना भी इस त्योहार के मुख्य अनुष्ठानों में से एक है।"
उन्होंने कहा, "दीपावली हमेशा परिवार और मित्रों के एक साथ आने और जश्न मनाने का त्योहार है। लेकिन इस वर्ष, कोविड-19 के प्रसार के कारण हमें जिस अभूतपूर्व स्वास्थ्य आपातकाल का सामना करना पड़ रहा है, उसे देखते हुए, मैं अपने नागरिकों से आग्रह करता हूं कि वे कोविड संबंधी स्वास्थ्य और स्वच्छता प्रोटोकॉल का सख्ती से पालन करते हुए दीपावली का त्योहार मनाएं।"
उपराष्ट्रपति ने कहा, "यह त्योहार अज्ञानता के अंधकार को दूर कर ज्ञान और आत्मज्ञान की ज्योति जगाता है। मैं यह कामना करता हूं कि यह त्योहार हमारे जीवन में शांति, सद्भाव, समृद्धि और खुशियां लेकर आए।"
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