नई दिल्ली। भारतीय विदेश मंत्रालय ने पाकिस्तान के मंत्री की संयुक्त राष्ट्र को लिखी उस चिट्ठी पर प्रतिक्रिया दी है जिस चिट्ठी में पाकिस्तान के मंत्री ने राहुल गांधी के बयान का हवाला दिया है। विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता रवीश कुमार ने कहा है कि उस पत्र की कीमत पत्र लिखने के लिए इस्तेमाल हुए कागज की कीमत के बराबर भी नही है। उन्होंने कहा कि इसपर प्रतिक्रिया देकर मैं इसे भाव नहीं देना चाहता।
पाकिस्तान की मानव अधिकार मंत्री शिरीन माजरी ने कश्मीर में ‘अंतरराष्ट्रीय मानवाधिकार कानूनों’ के उलंघन का आरोप लगाया था और संयुक्त राष्ट्र के अधिकारियों को पत्र लिखा था। शिरीन माजरी ने अपने लिखे पत्र में कांग्रेस नेता राहुल गांधी के बयान को भी शामिल किया था। राहुल गांधी ने 25 अगस्त को अपने ट्वीट संदेश में कहा था कि ‘’जम्मू-कश्मीर की जनता की स्वतंत्रता पर अंकुश लगाए हुए 20 दिन हो गए हैं, विपक्ष और मीडिया ने जब कल श्रीनगर जाने की कोशिश की तो उन्हें जम्मू-कश्मीर के लोगों पर इस्तेमाल किए जा रहे कठोर बल प्रयोक और प्रशासनिक क्रूरता का एहसास हुआ है।’’
विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता रवीश कुमार ने हाल में पाकिस्तानी नेताओं के भारत के आंतरिक मामलों पर आए भाषणों की भी कड़ी निंदा की, उन्होंने कहा कि पाकिस्तानी नेताओं ने जो बयान दिए हैं वे गैर जिम्मेदाराना बयान हैं।
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