पढ़िए प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के भाषण की बड़ी बातें, आपातकाल से लेकर तीन तलाक का किया जिक्र
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने लोकसभा में राष्ट्रपति रामनाथ कोविंद के अभिभाषण पर जवाब दिया। उन्होंने कहा, "राष्ट्रपति जी का अभिभाषण, देश के नागरिकों ने जिस आशा-आकांक्षाओं के साथ हमें इस सदन में भेजा है, उसकी एक तरह से प्रतिध्वनि है।"
नई दिल्ली। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने लोकसभा में राष्ट्रपति रामनाथ कोविंद के अभिभाषण पर जवाब दिया। उन्होंने कहा कि "राष्ट्रपति जी का अभिभाषण, देश के नागरिकों ने जिस आशा-आकांक्षाओं के साथ हमें इस सदन में भेजा है, उसकी एक तरह से प्रतिध्वनि है।" इसके अलावा पीएम मोदी ने कहा कि "मैं इस चर्चा को सार्थक बनाने के लिए इसमें भाग लेने वाले सभी सांसदों का हृदय से आभार व्यक्त करता हूं।"
आइए आपको बतातें हैं पीएम नरेंद्र मोदी के भाषण की बड़ी बातें।
मुस्लिमों को लेकर बोला कांग्रेस पर बड़ा हमला
पीएम नरेंद्र मोदी ने कहा कि जब देश में शाह बानों वाले मामले पर बहस चल रही थी तब कांग्रेस के एक मंत्री ने कथित तौर पर टीवी इंटरव्यू में कहा कि कुछ कांग्रेस के मंत्रियों का यह विचार था कि 'मुसलमानों का उत्थान कांग्रेस की जिम्मेदारी नहीं है, अगर मुसलमान गटर मे पड़े रहना चाहते हैं तो उन्हें पड़े रहने दीजिए'।
पीएम नरेंद्र मोदी ने यह भी कहा कि कांग्रेस समान नागरिक संहिता और शाहबानो मामले से चूक गई, आज फिर एक अवसर आया है, हम महिला सशक्तीकरण के लिए एक विधेयक लाए हैं, कृपया इसे धर्म से न जोड़ें।
जमीन से उखड़ गया है विपक्ष
कांग्रेस पर निशाना साधते हुए पीएम नरेंद्र मोदी ने कहा कि आपकी ऊंचाई आपको मुबारक हो। आप इतने ऊंचे चले गए हैं कि जमीन दिखना बंद हो गया है। आप इतने ऊंचे चले गए हैं कि आप जड़ों से उखड़ गए हैं। आप इतने ऊंचे चले गए हैं कि आपको जमीन के लोग तुच्छ लगने लगे हैं। आपका और भी ऊंचा होना मेरे लिए संतोष और आनंद की बात है।
आपातकाल का किया जिक्र
आपातकाल का जिक्र करते हुए हुए पीएम नरेंद्र मोदी ने कहा कि आज 25 जून है, 25 जून की वो रात जब देश की आत्मा को कुचल दिया गया था। भारत में लोकतंत्र संविधान के पन्नों से पैदा नहीं हुआ है, भारत में लोकतंत्र सदियों से हमारी आत्मा है। किसी की सत्ता चली न जाए सिर्फ इसके लिए, उस आत्मा को कुचल दिया था।
पीएम नरेंद्र मोदी ने आगे कहा कि हमें इसलिए कोसा जा रहा है क्योंकि हमने फलाने को जेल में क्यों नहीं डाला। ये इमरजेंसी नहीं है कि किसी को भी जेल में डाल दिया जाए, ये लोकतंत्र है। ये काम न्यायपालिका है। हम कानून से चलने वाले लोग हैं और किसी को जमानत मिलती है तो वो इंजॉय करे। हम बदले की भावना से काम नहीं करेंगे।
मेक इन इंडिया का आगे बढ़ाना हमारी जिम्मेदारी - पीएम नरेंद्र मोदी
मेक इन इंडिया का मजाक उड़कार कुछ लोगों को भले ही रात को अच्छी नींद आ जाए लेकिन इससे देश का भला तो नहीं हो पाएगा। मेक इन इंडिया का आगे बढ़ाना हमारी जिम्मेदारी है। हमारा सपना नया भारत बनाना है जिसके लिए मेक इन इंडिया जरूरी है।
‘सिस्टम बदलने में बहुत मेहनत लगेगी’
पीएम नरेंद्र मोदी ने कहा – देश की जनता ने हमें एक मजबूत जनादेश दिया है, हमें दोबारा ज्यादा शक्ति देकर लाए। जनता ने हमें परखने के बाद जनादेश दिया, हमारे देश का मतदाता बहुत जागरूक है। हम पहले से ज्यादा शक्ति के बाद वापस आए है, हमारी नीतियों का जनता ने अनुमोदन किया। सिस्टम बदलने में बहुत मेहनत लगेगी, गरीबों का कल्याण, उत्थान होना चाहिए।
‘जब हौंसला बना लिया ऊंची उड़ान का, तो देखना फिजूल है कद आसमान का’
पीएम नरेंद्र मोदी ने कहा कि मुझे कभी लगता है कि अगर 125 करोड़ देशवासियों के सपनों को अगर मुझे जीना है, तो मुझे छोटा सोचने का हक़ भी नहीं है, और इसलिए जब हौंसला बना लिया ऊंची उड़ान का, तो देखना फिजूल है कद आसमान का।
‘हम अपनी लकीर लंबी करने के लिए जिंदगी खपा देते हैं’
लोकसभा में अपने भाषण के दौरान पीएम नरेंद्र मोदी ने कहा, “यहां कहा गया कि हमारी ऊंचाई को कोई कम नहीं कर सकता, ऐसी गलती हम नहीं करते। हम दूसरे की लकीर छोटी करने में विश्वास नहीं करते, हम अपनी लकीर लंबी करने के लिए जिंदगी खपा देते हैं।”
‘सभी सरकारों का देश को आगे ले जाने में योगदान है’
पीएम नरेंद्र मोदी ने कहा, “मैं चुनौती देता हूं साल 2004 से पहले इस देश में अटल बिहारी वाजपेयी की सरकार थी। 2004 से 2014 तक शासन में बैठे लोगों ने अधिकृत कार्यक्रम में एकबार भी अटल जी के काम की तारीफ की हो तो जरूर इस पटल पर रखें। इतना ही नहीं नरसिम्हा राव की सरकार की तारीफ की हो तो जरूरर रखें। इतना ही नहीं एक बार भी मनमोहन सिंह जी की सरकार का जिक्र तक नहीं किया, अगर किया हो तो बताएं।”
‘महापुरुषों का सपना पूरा करना है’
पीएम नरेंद्र मोदी ने कहा कि एक सुरक्षित, सशक्त, समृद्ध, समावेशी राष्ट्र का सपना हमारे देश के अनेक महापुरुषों ने देखा है। उसे पूरा करने के लिए संकल्पबद्ध होकर, अधिक गति, अधिक तीव्रता के साथ हम सबको मिलजुलकर आगे बढ़ना, समय की मांग और देश की अपेक्षा है।