जम्मू-कश्मीर मुस्लिम पर्सनल लॉ बोर्ड के उपाध्यक्ष और राज्य के डिप्टी ग्रांड मुफ्ती नासिर-उल-इस्लाम ने भारत में रहनेवाले मुसलमानों से कहा है कि वह अपने लिए अलग देश की मांग करें। उन्होंने आरोप लगाया कि लव जिहाद, गौरक्षा और ट्रिपल तलाक के नाम पर अल्पसंख्यकों को परेशान किया जा रहा है।
हमें मुफ्ती नासिर-उल- इस्लाम का थोड़ा इतिहास भी जान लेना चाहिेए। नासिर-उल-इस्लाम के पिता बशीरुद्दीन कश्मीर में ग्रांड मुफ्ती हैं। मुफ्ती बशीरुद्दीन ने कश्मीरी पंडितों को फिर से घाटी में बसाने का विरोध किया था। मुफ्ती नासिर-उल-इस्लाम इससे पहले सुप्रीम कोर्ट के उस फैसले पर भी विरोध जता चुके हैं, जिसमें शरिया अदालतों को अवैध करार दिया गया था। और अब, उन्होंने मुसलमानों से मुल्क के बंटवारे की बात कही है।
यह सब लोग जानते हैं कि भारत के मुसलमान मुफ्ती नासिर-उल-इस्लाम की जहरीली टिप्पणियों का कभी समर्थन नहीं करेंगे। इस महान देश में अन्य नागरिकों के समान ही मुसलमान भी रहते हैं। अगर मुफ्ती ने इस तरह का बयान पाकिस्तान में दिया होता तो वहां की सेना उन्हें सबक सिखा देती। इस तरह का असंयमित बयान देकर मुफ्ती नासिर-उल-इस्लाम ने अपना असली चेहरा देश को जरूर दिख दिया है। उनकी यह टिप्पणी अवमानना के योग्य है इसलिए इसपर कड़ी कार्रवाई की जानी चाहिए। (रजत शर्मा)
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