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Hindi News भारत राष्ट्रीय वाघा बॉर्डर पर आजादी का जश्न: जहां दुश्मन को दिखता है हिंदुस्तान का दम, आमने-सामने भारत-पाकिस्तान

वाघा बॉर्डर पर आजादी का जश्न: जहां दुश्मन को दिखता है हिंदुस्तान का दम, आमने-सामने भारत-पाकिस्तान

वाघा बॉर्डर पर ये परेड कोई आम परेड नहीं बल्कि देश के शौर्य की देश की ताकत की प्रतीक भी है। वतन के इन जवानों ने देश की आन बान शान की खातिर को खुद को न्यौछावर करने की कसम खाई है।

<p>Punjab: Huge crowd gathers at Attari-Wagah border to...- India TV Hindi Punjab: Huge crowd gathers at Attari-Wagah border to watch the beating retreat ceremony which will begin shortly

नई दिल्ली: वाघा बॉर्डर पर आज भारत और पाकिस्तान आमने-सामने है यहां दोनों देशों के जवानों पर नज़रें टिकी हुई हैं। यहां खास बीटिंग रिट्रीट सेरेमनी हो रही है। हजारों लोगों की मौजूदगी में एक स्पेशल परेड होगी जिसका रोमांच सबको बांध देगा। वाघा बॉर्डर पर यूं तो ये सेरमनी रोज़ाना होती है, लेकिन पंद्रह अगस्त के मौके पर उसके रंग कुछ और ही होते हैं। वाघा बॉर्डर पर ये परेड कोई आम परेड नहीं बल्कि देश के शौर्य की देश की ताकत की प्रतीक भी है। वतन के इन जवानों ने देश की आन बान शान की खातिर को खुद को न्यौछावर करने की कसम खाई है।

क्या है बीटिंग रिट्रीट?

वाघा बार्डर पर हर शाम भारत-पाकिस्तान के राष्ट्रीय झंडे उतारने का अवसर, बीटिंग रिट्रीट सेरेमनी के हर रोज गवाह बनते हैं दोनों देशों के हजारों लोग
वाघा बॉर्डर पर 156 सेकेंड की होती है बीटिंग रिट्रीट सेरेमनी, 15 अगस्त को खास होती है बीटिंग रिट्रीट सेरेमनी
लोगों की भारी भीड़ जुटती है...देशभक्ति के कार्यक्रम होते हैं, 'जयहिंद' और 'भारत माता की जय' के नारे से गूंजता है वाघा बॉर्डर

कब हुई शुरूआत?

वाघा बॉर्डर पर बीटिंग रिट्रीट की शुरुआत 1959 में हुई, 1965 और 1971 में भारत-पाक युद्ध के दौरान नहीं हुई बीटिंग रिट्रीट सेरेमनी
बॉर्डर पर दोनों देशों के जवान दिखाते हैं अपना दम खम, बीटिंग रिट्रीट सेरेमनी में दिखती है देश की आन-बान-शान

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