2019 आम चुनाव: चुनाव पूर्व महागठबंधन पर शरद पवार का बयान- ये व्यावहारिक नहीं है
हमारे कुछ मित्र ऐसा चाहते हैं, लेकिन ऐसा व्यावहारिक नहीं है। मेरी निजी सोच यह है कि आखिरकार राज्यवार स्थिति होगी।
नई दिल्ली: राष्ट्रवादी कांग्रेस पार्टी (राकांपा) प्रमुख शरद पवार ने सोमवार को कहा कि अगले साल होने वाले आम चुनाव से पहले महागठबंधन व्यावहारिक नहीं है। उन्होंने हालांकि यह स्वीकार किया कि गैर भाजपाई दल राज्य विशेष में भाजपा को सत्ता से हटाने के लिए गठबंधन कर सकते हैं। उन्होंने कहा कि राज्यों में राजनीतिक दलों की क्षेत्रीय जरूरतों को देखते हुए चुनाव पूर्व महागठबंधन अव्यावहारिक समझा जा सकता है, तो चुनाव बाद गठबंधन करके भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) को दोबारा सरकार बनाने से रोका जा सकता है।
सीएनएन न्यूज 18 द्वारा जारी एक विज्ञप्ति में पवार के हवाले से कहा गया, "मीडिया अनुमान के अनुसार बहुत कुछ है, महागठबंधन जैसे कुछ वैकल्पिक मोर्चो के बारे में लिखा गया है। लेकिन मुझे ऐसा कुछ नहीं दिख रहा। मुझे इसकी संभावना नहीं दिख रही।" उन्होंने कहा, "हमारे कुछ मित्र ऐसा चाहते हैं, लेकिन ऐसा व्यावहारिक नहीं है। मेरी निजी सोच यह है कि आखिरकार राज्यवार स्थिति होगी।"
राकांपा नेता ने कहा कि जहां तमिलनाडु जैसे राज्य हैं, जहां शीर्ष पार्टी द्रविड़ मुनेत्र कड़गम (डीएमके) है, इसे अन्य गैर भाजपाई दलों को स्वीकार करना होगा। उन्होंने कहा, "अगर आप कर्नाटक, गुजरात, मध्य प्रदेश, राजस्थान, पंजाब जाएंगे तो आप देखेंगे कि वहां कांग्रेस शीर्ष पार्टी है। या आंध्र में आपको स्वीकार करना होगा कि तेलुगू देशम पार्टी (तेदेपा) शीर्ष राजनीतिक दल या तेलंगाना में चंद्रशेखर राव महत्वपूर्ण भूमिका निभाएंगे।"
पंवार ने हालांकि चुनाव के बाद गैर भाजपाई पार्टियों के एक साथ आने की संभावनाओं को नकारा नहीं है। उन्होंने कहा, "चुनाव बाद, हर तरह की संभावना है और ये चुनाव भाजपा के खिलाफ होने के कारण ये सभी नेता एक साथ आ सकते हैं। ये सभी ताकतें साथ आकर कोई विकल्प तलाश कर सकती हैं जिससे देश की बागडोर भाजपा के हाथ में ना जाए। ऐसा होगा, इसके प्रति मैं आश्वस्त हूं।" उन्होंने जोर देते हुए कहा, "लेकिन चुनाव से पहले कोई महागठबंधन नहीं है।"
कांग्रेस अध्यक्ष राहुल गांधी के प्रधानमंत्री बनने की संभावनाओं पर पवार ने कहा, "मैं ये नहीं कह सकता, फिलहाल किसी व्यक्ति के बारे में नहीं बोल सकता, उनकी स्वीकार्यता महत्वपूर्ण है।" कानून को हाथ में लेकर भीड़ द्वारा हत्या करने के ज्यादातर मामलों के लिए उन्होंने भाजपा समर्थित तत्वों को जिम्मेदार ठहराया और कहा कि ऐसे कृत्यों के कारण भाजपा फिर से हाशिये पर चली जाएगी।