पालजी (गुजरात): प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने आज कहा कि देश डिजिटल विभाजन को वहन नहीं कर सकता और सामाजिक समानता सुनिश्चित करके इस अंतर को खत्म किया जा सकता है। पीएम मोदी ने देश के युवाओं से कहा कि वह बड़े पैमाने पर नवोन्मेष का रुख करें। उन्होंने यह भी कहा कि शिक्षाविदों को परीक्षा-आधारित शिक्षा की बजाय नवोन्मेष पर ध्यान देना चाहिए। किसी भी तरह के डिजिटल विभाजन को लेकर आगाह करते हुए प्रधानमंत्री ने कहा, इन दिनों और आज के युग में हम डिजिटल विभाजन को वहन नहीं कर सकते। अगर कुछ लोग प्रौद्योगिकी में सशक्त हो जाते हैं और कुछ लोग नहीं, तो फिर यह डिजिटल विभाजन सामाजिक सद्भाव के लिए बड़ी समस्या पैदा कर सकता है।
आईआईटी-गांधीनगर के नए परिसर का उद्घाटन करते हुए पीएम मोदी ने कहा, हमें सामाजिक सद्भाव सुनिश्चित करने के लिए इस अंतर को खत्म करने की जरूरत है। इस कार्यक्रम के दौरान मोदी ने प्रधानमंत्री ग्रामीण डिजिटल साक्षरता अभियान के तहत पाठ्यक्रम पूरा करने वालों को प्रमाणपत्र वितरित किया। उन्होंने कहा, ऐसा क्यों है कि आईटी में देश की विशेषग्यता होने के बावजूद गूगल दूसरे देश में क्यों पैदा हुआ फेसबुक और यूट्यूब दूसरी जगह क्यों शुरू हुए मोदी ने आईआईटी के छात्रों से कहा, मैं देश के सभी युवाओं को चुनौती देता हूं कि वे भारत का भविष्य बदलने के लिए नवोन्मेष का रास्ता अपनाएं। ये भी पढ़ें: पीएम मोदी ने कहा, जीएसटी में बदलाव से 15 दिन पहले ही दिवाली जैसा माहौल हो गया है
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