नई दिल्ली: प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने आज मन की बात कार्यक्रम में देश को संबोधित करते हुए कहा कि कोरोना वायरस के इस दौर में दूसरों की सेवा में लगे लोगों में कभी तनाव नहीं दिखता है। प्रधानमंत्री ने कहा कि साथियों, देशवासियों की संकल्पशक्ति के साथ एक और शक्ति इस लड़ाई में हमारी सबसे बड़ी ताकत है वो है देशवासियों की सेवाशक्ति। वास्तव में इस महामारी के समय हम भारतवासियों ने ये दिखा दिया है कि सेवा और त्याग का हमारा विचार केवल हमारा आदर्श नहीं है बल्कि भारत की जीवनपद्धति है और हमारे यहां तो कहा गया है 'सेवा परमो धर्म:'।
उन्होनें कहा कि सेवा में अपना सबकुछ समर्पित करने वालों की संख्या अनगिनत है। तमिलनाडू के मदुरई में सी मोहन ने अपनी मेहनत की कमाई से बेटी की पढ़ाई के लिए 5 लाख बचाए थे जिसे उन्होनें अब जरूरतमंदों और गरीबों की सेवा के लिए खर्च किए। वहीं अगरतला में ठेला चलाकर जीवन चलाने वाले गौतम दास अपनी कमाई से रोज दाल चावल खरीदकर लोगों को खाना खिला रहे हैं।
प्रधानमंत्री ने कहा कि पठानकोट से दिव्यांग भयराजू ने दूसरों की मदद से जोड़ी गई छोटी सी पूंजी से 3000 से ज्यादा मास्क बांटे और 100 परिवालों के लिए खाना जुटाया। उन्होनें कहा कि महिला सहायता समूहों की माताएं बहने हर दिन हजारों की संख्या में मास्क बना रही हैं। ऐसे कितने उदाहरण हर दिन देखने को मिल रहे हैं। उन्होनें कहा कि मैं सेवा भाव से सभी लोगों की सेवा में लगे लोगों का आदर करता हूं।
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